इलाहाबाद यूनिवर्सिटी में शून्य पर आकर खड़ा हो गया फिजिकल एजुकेशन डिपार्टमेंट

ALLAHABAD: सेंट्रल यूनिवर्सिटी इलाहाबाद में आपसी गुणा गणित और उठापटक के चलते पढ़ाई कैसे दम तोड़ रही है? इसका अंदाजा फिजिकल एजुकेशन डिपार्टमेंट से लगाया जा सकता है। इविवि प्रशासन के लचर रवैए के चलते यह खूबसूरत विभाग कोर्स विहीन होने की कगार पर पहुंच चुका है। यहां अंडर ग्रेजुएट की पढ़ाई पहले ही बंद हो चुकी है और अब पीजी लेवल की पढ़ाई पर भी संकट मंडरा रहा है।

पापुलर कोर्स था बीपीई

विभाग में एकेडमिक सेशन 2015-16 तक बैचलर ऑफ फिजिकल एजुकेशन (बीपीई) की पढ़ाई होती थी। इसमें सीटों की संख्या उस समय 30 हुआ करती थी। जानकारी के मुताबिक यूनिवर्सिटी को बीपीई का नाम बदलकर बीपीईएस (बैचरल ऑफ फिजिकल एजुकेशन एंड स्पोर्ट्स) करना था। इसके लिए बोर्ड ऑफ स्टडीज और फिर एकेडमिक काउंसिल से मंजूरी लेनी पड़ती। लेकिन विवि प्रशासन और विभागीय लापरवाही के चलते कोर्स का नाम नहीं बदला जा सका। जानकारी के मुताबिक यही वह कारण है जिसके चलते इस पापुलर कोर्स को बंद करना पड़ा।

बीपीएड की लेनी थी मंजूरी

अब खतरा एमपीएड (मास्टर इन फिजिकल एजुकेशन) पर भी मंडरा रहा है। विभागीय लोगों का कहना है कि एनसीटीई की गाइडलाइन है कि बिना बीपीएड (बैचलर ऑफ फिजिकल एजुकेशन) के एमपीएड को कंटिन्यू नहीं किया जा सकता। एनसीटीई जयपुर ने इसी शर्त पर 05 फरवरी 2015 को एमपीएड के एक बैच (सेशन 2015-16) को तीन वर्ष के लिए मान्यता दी थी और कहा था कि इस दौरान बीपीएड पाठ्यक्रम की मंजूरी ले ली जाये। लेकिन अभी तक ऐसा हो नहीं पाया है।

छात्रों ने किया था हंगामा

यूनिवर्सिटी द्वारा बीपीएड की मान्यता नहीं ली जा सकी है। वहीं एमपीएड की मान्यता भी 04 फरवरी 2018 (मान्यता सेशन 2015-16 के लिए ही थी) को समाप्त हो चुकी है। यही कारण है कि पिछले दिनों फिजिकल एजुकेशन के छात्र-छात्राओं ने कोर्स और डिग्री की वैधानिकता को लेकर हंगामा किया था।

कोर्स खत्म तो भर्ती की तैयारी

बताया जाता है कि एनसीटीई ने एयू एडमिनिस्ट्रेशन की लापरवाही के मद्देनजर 26 फरवरी 2018 को बीपीएड की मान्यता का रिफ्यूजल लेटर भी जारी कर दिया। इससे पहले एनसीटीई ने दिसम्बर 2017 में विभाग को बीपीएड की मान्यता के लिए स्टाफ प्रोफाईल का ब्यौरा भेजने को कहा था। विवि प्रशासन और विभाग द्वारा इसको आगे नहीं बढ़ाया गया। इसके बाद वर्ष 2015 में बीपीएड की मान्यता के लिए किया गया आवेदन निरस्त करना पड़ा। दिलचस्प बात यह है कि अब जब नियमों के आलोक में विभाग में एक भी कोर्स पठ्न-पाठ्न के लिहाज से संचालित नहीं किये जा सकते। तब विवि प्रशासन ने फिजिकल एजुकेशन में शिक्षक भर्ती के लिए असिस्टेंट प्रोफेसर, एसोसिएट प्रोफेसर और प्रोफेसर की भर्ती के लिए इंटरव्यू की तैयारी शुरु की है।

बीपीएड की मान्यता के लिए अभी भी प्रॉसेस किया जा सकता है। इसके लिए स्टॉफ प्रोफाइल भेजना होगा। लेकिन यह बात सही है कि बिना बीपीएड के एमपीएड नहीं चलाया जा सकता।

डॉ। डीसी लाल, एचओडी, फिजिकल एजुकेशन डिपार्टमेंट