- खूंखार आतंकी से मुठभेड़ की तैयारी में आए थे एटीएस कमांडो

- शहर में एटीएस कर रही सर्च आपरेशन, 26 जनवरी तक चलेगा

डर के मारे दुकानें बंद कर भाग खड़े हुए
आधी रात को 2 बजे के बाद सन्नाटे के समय इसीलिए छापा मारा गया कि अगर आतंकी से मुठभेड़ हो जाए तो फायरिंग में किसी प्रकार की जनहानि न हो। घंटाघर चौराहे पर भी इतनी दहशत हो गई कि चाय-पान के दुकानदार भी डर के मारे दुकानें बंद कर भाग खड़े हुए। छापे के दौरान वह नहीं पकड़ा जा सका। अब एटीएस शहर में सर्च ऑपरेशन चला कर पता लगा रही है कि यह आतंकी अभी भी शहर में छिपा है या फिर यहां से निकल गया है।

गन और हैण्ड ग्रेनेड से लैस होने का इनपुट था
एटीएस को आतंकी के पास आटोमैटिक गन और बम होने का इनपुट मिला था। तभी एटीएस ने कमांडो के साथ होटलों में छापा मारा था। एटीएस को डर था कि अगर वे आतंकी को पकड़ने की कोशिश करेंगे तो वह उन पर हमला कर सकता है। इसलिए एटीएस कमांडो रूम का गेट खुलवाने के बाद कस्टमर को गन प्वाइंट में ले लेते थे। जब पूछताछ में यह क्लीयर हो जाता था कि वह आतंकी नहीं है। तभी उसको गन प्वाइंट से हटाया जाता था। इससे पहले एटीएस के दो कमांडो होटल की छत पर पोजिशन ले लेते थे, ताकि अगर आतंकी छत के रास्ते भागे तो वे उसको दबोच लें।

26 जनवरी तक चलेगा सचर् आपरेशन
गृह मंत्रालय ने 26 जनवरी को लेकर यूपी समेत सात राज्यों में अलर्ट जारी किया है। यूपी में कानपुर बेहद संवेदनशील है। यहां पर पहले भी आतंकी कनेक्शन सामने आ चुका है। इसलिए एटीएस और शहर पुलिस अलर्ट है। वे कोई रिस्क नहीं लेना चाहते है। इसलिए वे 26 जनवरी तक इसी तरह का सर्च आपरेशन चलाते रहेंगे।

खतरा टला है, खत्म नहीं हुआ
अगर आतंकी ने एटीएस के छापे से पहले ठिकाना बदल लिया है तो खतरा कम नहीं हुआ है। कुछ अफसरों का भी यही मानना है। तभी वे सर्च आपरेशन चलवा रहे है और उन्होंने मुखबिरों को सक्रिय कर दिया है। मुस्लिम बाहुल्य इलाकों में एटीएस और पुलिस का खास फोकस है। इन इलाकों में आने वाले नए लोगों के बारे में जानकारी जुटाई जा रही है।