-लास्ट ईयर बीसीबी मैनेजमेंट ने पास किया था बिल्डिंग निर्माण का प्रस्ताव

-बीसीबी की ऐतिहासिक इमारत के चलते वार्डन हाउस तोड़ पाना संभव नहीं

BAREILLY :कानून के स्टूडेंट्स के लिए नई बिल्डिंग बनाने में कानूनी पेंच फंस गया है। इस कारण बीसीबी मैनेजमेंट चाहकर भी बिल्डिंग निर्माण की प्रक्रिया शुरू नहीं कर पा रहा है। क्योंकि बीसीबी की इमारत ऐतिहासिक है। ऐसे में कोई भी बिल्डिंग तोड़कर नई बिल्डिंग बनाना संभव नहीं है। इस वजह से मैनेजमेंट को मजबूरी में बीबीए डिपार्टमेंट में ही लॉ की क्लासेज लगानी पड़ रही है।

कमेटी ने लगा दी थी मुहर

बीसीबी ने लास्ट ईयर मैनेजमेंट कमेटी की मीटिंग में लॉ के स्टूडेंट्स के लिए ब्वॉयज हॉस्टल के वार्डन के आवास को तोड़कर उस जगह लॉ की बिल्डिंग बनाने की बात तय हुई थी। बीसीबी ने निर्माण कार्य की प्रक्रिया शुरू की। टेंडर मांगे। लेकिन, बीसीबी ऐतिहासिक इमारत होने के कारण वार्डन का आवास बगैर पुरातत्व विभाग की अनुमति के बगैर तोड़ पाना संभव नहीं है। वहीं, पुरातत्व विभाग ने आवास तोड़ने की अनुमति देने से इनकार कर दिया है। सनद रहे कि जब लॉ के एग्जाम होते हैं, तब बीबीए के स्टूडेंट्स की पढ़ाई डिस्टर्ब होती है। क्योंकि मैनेजमेंट बीबीए बिल्डिंग को एग्जाम सेंटर बना देता है। इस कारण बीबीए के स्टूडेंट्स की क्लासेज नहीं लग पाती हैं।

इस बार भी नहीं मिलेगा 'आजाद'

मैनेजमेंट कमेटी ने ब्वॉयज हॉस्टल आजाद के पुराने स्वरूप को बरकरार रखते हुए आधुनिक सुविधाओं से लैस हॉस्टल बनाने का प्रस्ताव पास किया था। लेकिन, आजाद हॉस्टल के टूटने की सूचना मिलते ही स्टूडेंट्स विरोध में खड़े हो गए और हॉस्टल न तोड़ने की मांग की थी। स्टूडेंट्स की यह लड़ाई सोशल मीडिया तक पहुंच गई। वहीं, हॉस्टल तोड़ने के लिए टेंडर भी डाले गए, लेकिन बाद में स्टूडेंट्स के आक्रोश को देखते हुए प्रक्रिया को ठंडे बस्ते में डालना पड़ा। वहीं, कॉलेज मैनेजमेंट की हीलाहवाली के चलते 2016-17 के शैक्षिक सत्र के स्टूडेंट्स को हॉस्टल नहीं मिल सका। वहीं, 2017-18 के स्टूडेंट्स को हॉस्टल मिल पाने की उम्मीद भी काफी कम नजर आ रही है।

लास्ट ईयर कॉलेज ने लॉ डिपार्टमेंट की नई बिल्डिंग बनाने के लिए प्रस्ताव मांगे थे। इसके बाद सूचना मिली कि मैनेजमेंट कमेटी ने प्रस्ताव पर सहमति दे दी है। लेकिन, उसके बाद कोई जानकारी नहीं मिली है।

डॉ। दीपक आनंद, एचओडी लॉ डिपार्टमेंट

ब्वॉयज हॉस्टल के वार्डन के आवास को तोड़कर लॉ डिपार्टमेंट की बिल्डिंग बननी हैं। लेकिन, पुरातत्व विभाग इसमें रोड़े अटका रहा है।

सुरेश पाल, इंजीनियर, बीसीबी