- फार्मासिस्ट ट्रांसफर में बड़े फर्जीवाड़े का लगाया आरोप

- लैब टेक्नीशियन को फार्मासिस्ट बनाकर किया ट्रांसफर

LUCKNOW: स्वास्थ्य विभाग के फार्मासिस्ट्स ने 30 जून को जारी ट्रांसफर लिस्ट में बड़े स्तर पर फर्जीवाड़े का आरोप लगाया है। डिप्लोमा फार्मासिस्ट एसोसिएशन ने आरोप लगाया है कि इसमें ऐसे लोगों का भी ट्रांसफर कर दिया गया, जिनकी मृत्यु हो चुकी है या वे फार्मासिस्ट ही नहीं हैं। इसलिए इस ट्रांसफर को कैंसिल किया जाए। 30 जून को देर रात स्वास्थ्य विभाग ने लगभग 145 फार्मासिस्ट्स का स्थानांतरण कर दिया था।

उत्पीड़न का आरोप

डिप्लोमा फार्मासिस्ट एसोसिएशन ने मामले में सीएम को पत्र लिखकर कार्रवाई की मांग की है। गुरुवार को बलरामपुर अस्पताल में एसोसिएशन के सचिव डॉ। केके सचान ने कहा कि 145 में से 65 ऐसे लोग हैं, जो फार्मासिस्ट के पद पर नहीं हैं। दो ऐसे लोगों का भी स्थानांतरण किया गया है, जिनकी मृत्यु कई वर्ष पूर्व हो चुकी है। 12 ऐसे लोगों का भी ट्रांसफर किया गया है, जो संबंधित जिलों में हैं ही नहीं। इसके अलावा वार्षिक ट्रांसफर नीति से मुक्त 3 विकलांग, 5 जनपदीय अध्यक्ष, सचिव, 4 दाम्पत्य नीति और 12 ऐसे हैं, जो जिलों में बहुत कम समय से तैनात हैं। इन सभी को दूसरे जिलों में स्थानांतरित कर दिया गया है। इस तरह से 145 में से 103 त्रुटियां हैं। आरोप लगाया कि यह कर्मचारियों को उत्पीड़न और दोहन के लिए जारी किया गया है।

मृतकों का भी स्थानांतरण

एसोसिएशन के प्रवक्ता डॉ। सुनील यादव ने बताया कि स्थानांतरण लिस्ट में क्रम संख्या 7 पर अशोक कुमार व 27 नम्बर पर मो। अब्दुल्ला खान की कई वर्ष पूर्व मृत्यु हो चुकी है। लेकिन स्वास्थ्य विभाग ने इनका भी दूसरे जिलों में स्थानांतरण कर दिया है। एसोसिएशन ने आशंका जताई है कि कोई फर्जी व्यक्ति इनकी जगह योगदान देकर फार्मेसिस्ट के रूप में काम कर सकता है। इसके अलावा 129 नम्बर शिवेन्द्र प्रकाश श्रीवास्तव फार्मेसिस्ट ही नहीं है। वह सीएचसी भिंगा श्रावास्ती में लैब टेक्नीशियन हैं। उन्हें भी फार्मासिस्ट बताकर ट्रांसफर कर दिया गया। 28 नम्बर पर पद्मा तिवारी, 104 पर मिथलेश अवस्थी, 106 जुगेन्द्र सिंह, 109 बृजेश कुमार, 141 देवी प्रसाद के अलावा 30, 33, 93, 94, 98, 120, 124, 129, 127 नम्बर पर अंकित फार्मासिस्ट संबंधित जिलों में हैं ही नहीं। आरोप लगाया कि बड़े पैमाने पर स्थानांतरण के आधार पर फर्जी लोगों को तैनात करने की साजिश की गई है।

पदावनत कर किया ट्रांसफर

उन्होंने बताया कि 66 से अधिक फार्मेसिस्ट पदोन्नत होकर चीफ फार्मासिस्ट के रूप में काम कर रहे हैं। जिनका पूर्व में समायोजन किया जा चुका है। इस समय प्रदेश में चीफ फार्मेसिस्ट के पद भी खाली नहीं है। फिर भी उनको फार्मासिस्ट दिखाकर ट्रांसफर कर दिया गया। उनका डिमोशन कर स्थानांतरित किया जाना नियम विरूद्ध है। अगर इनको कार्यमुक्त कर किया गया तो गंभीर वित्तीय अनियमितताएं होंगी और न तो उनकी ज्वाइनिंग हो सकेगी न ही उन्हें वेतन मिलेगा। लगातार स्वास्थ्य महानिदेशालय में चक्कर काटने के साथ धन वसूली की जाएगी।