RANCHI: झारखंड एकेडमिक काउंसिल(जैक) ख्0 से ख्म् फरवरी के बीच आठवीं बोर्ड की परीक्षा लेगा। इसकी डेट काउंसिल ने तय कर दी है। परीक्षा में आठवीं कक्षा स्तरीय डिस्क्रिप्टिव क्वेश्चन पूछे जाएंगे। जैक अध्यक्ष अरविंद सिंह ने बताया कि परीक्षा में पांच लाख से अधिक स्टूडेंट्स बैठेंगे। इस परीक्षा के क्वेश्चन पेपर भी जैक ही तैयार करेगा। इस परीक्षा में पास होनेवाले स्टूडेंट्स ही नौवीं क्लास में एडमिशन ले सकेंगे।

क्वालिटी बढ़ाना है मकसद

जैक अध्यक्ष अरविंद सिंह ने बताया कि आठवीं बोर्ड परीक्षा लेने का मकसद पढ़ाई में गुणवत्ता बढ़ाना है। आठवीं में बोर्ड होने से स्टूडेंट गंभीर होकर पढ़ाई करेंगे। वहीं जो कमजोर होंगे वह आठवीं में ही छंट जायेंगे। इससे बोर्ड की परीक्षा में वही विद्यार्थी बैठेंगे जो सीरियस होंगे।

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खराब रिजल्ट के बाद लिया था निर्णय

गौरतलब है कि इसी वर्ष फ्0 मई को झारखंड एकेडमिक काउंसिल की दसवीं और बारहवीं का रिजल्ट जारी किया गया था। परीक्षा परिणाम बीते साल की तुलना में बेहतर नहीं होने के कारण शिक्षा विभाग के पदाधिकारियों के साथ हुई समीक्षा बैठक में स्कूली शिक्षा सचिव आराधना पटनायक ने आठवीं में बोर्ड की परीक्षा कराने का निर्णय लिया था इसके बाद जैक ने इसकी तैयारी शुरु कर दी है।

बेहतर होगा मैट्रिक का रिजल्ट

दि इंडीविजुअल कोचिंग सेंटर के डायरेक्टर डॉ अमित कुमार ने बताया कि जैक का आठवीं बोर्ड की परीक्षा लेने का निर्णय सराहनीय है। इससे निश्चित रुप से शिक्षा की गुणवत्ता में सुधार होगा। सातवीं और आठवीं के बच्चों में पोटेंशियल बहुत होता है अगर वे आठवीं में ही सीरियसली पढ़ाई करने लगेंगे तो नौवीं और दसवीं का रिजल्ट यूं ही बेहतर हो जाएगा। वहीं नहीं पढ़नेवाले स्टूडेंट छंट जायेंगे। इससे मैट्रिक की परीक्षा में क्वालिटी स्टूडेंटस ही बैठेंगे और इस परीक्षा का रिजल्ट बेहतर होगा। अभी झारखंड एकेडमिक काउंसिल के बच्चों का पार्टिसिपेशन इंजीनियरिंग और मेडिकल की परीक्षाओं में उतना नहीं होता। बेहतर छात्रों के आने से यह रेशियो भी बढ़ेगा।

वर्जन

जैक पहली बार आठवीं बोर्ड की परीक्षा लेगा। इसका मकसद शिक्षा की गुणवत्ता बढ़ाना है। परीक्षा में पांच लाख से अधिक विद्यार्थियों के हिस्सा लेने की संभावना है।

-अरविंद सिंह, अध्यक्ष, जैक

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आठवीं में बोर्ड लेने का जैक का निर्णय सराहनीय है। इससे शिक्षा की गुणवत्ता तो बढ़ेगी ही मैट्रिक की परीक्षा में भी बेहतर स्टूडेंटस बैठेंगे। इससे रिजल्ट अच्छा होगा।

-डॉ अमित कुमार, डायरेक्टर, दि इंडीविजुअल कोचिंग सेंटर, हिनू