-पर्यावरण स्वच्छता प्रमाणपात्र की बाध्यता के विरोध में अनिश्चित कालीन हड़ताल

- 27 जुलाई को दिल्ली के जंतर-मंतर पर देशव्यापी धरना प्रदर्शन की तैयारी

- भट्ठों में पथाई करने वाले लाखों श्रमिकों की रोजी-रोटी पर मंडराया संकट

UNNAO: पर्यावरण एवं वन मंत्रालय भारत सरकार द्वारा पर्यावरण स्च्च्छता प्रमाणपत्र लेने की बाध्यता और प्रमाणपत्र के लिए लागू जटिल नियमों के विरोध में ईट भट्ठा मालिकों ने व्यवसाय बंद कर हड़ताल शुरू कर दी है। जब तक सरकार इस बाध्यता को वापस नहीं लेगी, ईट भट्ठा बंद कर लगातार विरोध प्रदर्शन करते रहेंगे। 27 जुलाई को नई दिल्ली के जंतरमंतर पर धरना देंगे। यह जानकारी प्रदेश ईट निर्माता समिति के प्रदेश कोषाध्यक्ष गोपी श्रीवास्तव व समिति के जिला अध्यक्ष रविसहाय मिश्र राधे ने दी।

केंद्र सरकार को चेतावनी

समिति के पदाधिकारियों ने केंद्र सरकार को चेतावनी दी है कि वह उक्त आदेश को वापस नहीं लेगी तो पूरे देश का ईट भट्ठा कारोबार बंद रहेगा। हड़ताल की अवधि में भट्ठा मालिक कोई भी सरकारी राजस्व अदा नहीं करेंगे। इससे सरकार को अरबों रुपये राजस्व की क्षति होगी। श्री श्रीवास्तव ने कहा कि ईट पथवाने के लिए मिट्टी खनन से पूर्व पर्यावरण विभाग से पर्यावरण स्च्च्छता प्रमाणपत्र लेने की जबरन बाध्यता थोप कर ईट भट्ठा मालिकों के उत्पीड़न का नया रास्ता खोल दिया है। जबकि ईट भट्ठा ग्रामीण प्रकृति का कुटीर उद्योग है। उन्होंने कहा कि जबकि पूर्व में इस कुटीर उद्योग को ¨जदा रखने के लिए अधिसूचना जारी कर दो मीटर तक मिट्टी खुदाई की अनुमति दी थी।

मल्टीनेशनल कंपनियों की साजिश

समित जिलाध्यक्ष श्री मिश्र ने आरोप लगाया कि कुछ मल्टीनेशनल कंपनियों और क्लीरियंस दिलाने वाले एजेंटों की सोची समझी साजिश के तहत उक्त अनिवार्यता थोपी गई है। श्री मिश्र ने कहा कि संघ के निर्देशानुसार कारोबार बंद कर हड़ताल जारी रखी जाएगी। उन्होंने कहा कि 27 तारीख को दिल्ली में होने वाले धरना प्रदर्शन में जिले के सैकड़ों ईट भट्ठा मालिक भाग लेंगे। प्रदेश कोषाध्यक्ष ने बताया कि आंदोलन को गति देने के लिए प्रदेश के जनपदों को अलग-अलग मंडलों में शामिल कर मंडल प्रभारियों की नियुक्ति की गई है। उन्नाव को कानपुर मंडल से जोड़ा गया है।

लाखों श्रमिक हो जाएंगे बेरोजगार

राधे ने कहा कि जब तक हमारी मांगे नहीं मानी जाएंगी हम न तो राजस्व देंगे और न ही सीजनल श्रमिकों से कांटेक्ट करेंगे। अगले सीजन के लिए कोयला की भी उठान नहीं करेंगे। ईट भट्ठा बंद होने से जहां भवन निर्माण कराने के लिए ईट का संकट खड़ा हो जाएगा। वहीं करोड़ों पथेरा श्रमिक बेरोजगार हो जाएंगे। उन्होंने चेतावनी दी है कि इस लड़ाई को आखिरी मुकाम तक पहुंचा कर ही दम लेंगे। अंत में समित के जिला पदाधिकारियों में महामंत्री अश्वनी तिवारी, उपाध्यक्ष मायाप्रसाद गुप्ता, जफरुलहक, ललित मोहन मिश्र, कोषाध्यक्ष हरिदास आहूजा, ओमप्रकाश, रमाकांत, राधे यादव, रमेश तुलानी, अमित गुप्ता, साधूराम व सतीश राजपाल आदि ने कानपुर मंडल प्रभारी प्रदेश कोषाध्यक्ष गोपी श्रीवास्तव का माल्यार्पण कर स्वागत किया।