- ट्रांसपोर्ट कारोबार को रोजाना लग रहा 40 करोड़ का फटका

- शहर में सब्जी और फलों की पड़ सकती है किल्लत

Meerut: नोट बंदी के फैसले से ट्रांसपोर्ट कारोबार पूरी तरह ध्वस्त हो गया है। पैसे की तंगी के चलते ट्रक जहां के तहां खड़े हैं। ट्रांसपोर्ट कारोबारियों का मानना है कि यह कारोबार कैश से चलता है। चेक और ऑनलाइन पेमेंट इसमें काम नहीं करता। उनका मानना है कि यदि यही हालात और पांच दिन रह गए, तो शहर में सब्जी और फलों की आवक भी बंद हो जाएगी।

चेक पेमेंट से नहीं चलता कारोबार

ट्रांसपोर्ट व्यापारियों का मानना है कि यदि उन्हें एक ट्रक बाहर भेजना पड़े, तो कम से 70 से 80 हजार का खर्चा आता है। जिसमें उन्हें ड्राइवर को कैश में पैसे देने पड़ते हैं।

ये आते हैं खर्चे

- डीजल खर्चा

-'आरटीओ खर्चा'

- दूसरे राज्यों का टैक्स

- ड्राइवर व हेल्पर के खाने का खर्चा

ये है स्थिति

- 10 हजार ट्रक हैं पूरे जिले में

- 50 करोड़ का प्रतिदिन होता है कारोबार

- 10 करोड़ रह गया है नोट बंदी के बाद कारोबार

- 40 करोड़ का हो रहा प्रतिदिन नुकसान

आएगी किल्लत

सब्जी व फलों के थोक विक्रेता रहीस ने बताया कि अभी तो बाजार में दो-तीन दिनों की सब्जी है। नई-सब्जी और फल आने बंद हो गए हैं। यदि ऐसा ही चलता रहा तो, अगले पांच दिनों में सब्जी और फलों की भी किल्लत पड़ने वाली है।

इन पर हो सकता है असर

- 3000 सब्जी व फलों की कुल दुकानें हैं शहर में

-1300 सब्जी की दुकानें हैं शहर में

- 1700 दुकानें हैं फलों की

-16 लाख रुपए है प्रतिदिन सब्जी का कारोबार

- 14 लाख रुपए है प्रतिदिन फलों का कारोबार

वर्जन

ट्रांसपोर्ट का कारोबार पूरी तरह कैश पर आधारित है। सरकार ने करंट अकाउंट से 50 हजार तक रुपए निकालने के आदेश दिए थे। लेकिन बैंक अभी ये रकम नहीं निकाल रहे हैं। जिसके चलते देशभर में इस कारोबार को पैसे की किल्लत से जूझना पड़ रहा है।

गौरव शर्मा, अध्यक्ष ट्रांस्पोर्ट एसोसिएशन