Digital fraud

-मेरठ के रिटायर्ड अधिकारी से हड़पे 82 लाख रुपये

-6 आरोपी दबोचे, 3 आरोपियों की अभी भी तलाश

Meerut। साइबर क्रिमिनल्स के लिए मेरठ सॉफ्ट टारगेट है। एक के बाद एक बड़े साइबर क्राइम का आए दिन खुलासा हो रहा है। वेस्ट यूपी के सबसे बड़े फ्रॉड का खुलासा शनिवार मेरठ पुलिस की साइबर सेल ने पल्लवपुरम थाना पुलिस के साथ किया। बीमा पॉलिसी पर बोनस का लालच देकर अंतरराज्यीय गिरोह ने रिटायर्ड बिजलीकर्मी से 82 लाख रुपये हड़प लिए।

करोड़ों का सपना

साइबर अपराधियों ने रिटायर्ड कर्मी को लाखों जमा कराकर करोड़ों रूपये का सपना दिखाया। दो बड़े ट्रांजेक्शन महिला समेत दो शातिरों के खातों में किए गए। पुलिस ने 6 आरोपियों को धर दबोचा है जबकि 3 अभी भी फरार हैं।

पॉलिसी का झांसा

प्रेसवार्ता के दौरान एसपी सिटी आलोक प्रियदर्शी ने बताया कि पल्लवपुरम निवासी रिटायर्ड बिजलीकर्मी अम्बरीश गुप्ता ने आईसीआईसीआई में 14 विभिन्न बीमा पॉलिसी करा रखी हैं। 20 सितंबर 2015 को राहुल श्रीवास्तव नाम के व्यक्ति ने कॉल करके खुद को आईसीआईसीआई फंड डिपार्टमेंट का अधिकारी बताते हुए जानकारी दी कि उनकी पॉलिसी की फंड वैल्यू 56 लाख से बढ़कर 75 लाख हो गई है। साथ ही कहा कि किंतु आज रात मार्केट में गिरावट आने के कारण फंड वैल्यू घटकर 43 लाख रह जाएगी। अगर आप अपनी पॉलिसी की वर्तमान वैल्यू को स्विच करा देंगे तो आपको पूरा रुपया (75 लाख) रुपये 3 माह में मिल जाएगा।

लगातार आने लगी कॉल

अम्बरीश गुप्ता पर इसके बाद आईसीआईसीआई के नाम से लगातार कॉल आने लगीं। कॉलर्स ने गे्रजुएटी पर इनकम टैक्स एवं अन्य पॉलिसी कराने के नाम पर अम्बरीश से राज सिंघानिया उर्फ राजा और हरलीन कौर के फर्जी पतों पर खुले बैंक अकाउंट में 82 लाख डलवा लिए। रुपये जमा करने के बाद जब अम्बरीश को बीमा पॉलिसी के रुपये नहीं मिले तो उन्होंने एसएसपी जे। रविंद्र गौड़ से शिकायत की, प्रकरण को गंभीरता से लेते हुए एसएसपी ने केस साइबर सेल को सौंप दिया। क्राइम ब्रांच, साइबर सेल और पल्लवपुरम थाना पुलिस गाजियाबाद, नोएडा और दिल्ली से 6 आरोपियों को धर दबोचा जिसमें एक महिला भी शामिल है। 3 आरोपी अभी फरार हैं।

कृपया यकीन करें

साइबर क्रमिनल्स के इस गैंग के सरगना शमसेर उर्फ बबलू ने पुलिस को बताया कि वो अपने साथी आशीष, सुमित, दिनेश, संजू चौहान के साथ मिलकर बीमा पॉलिसी धारकों को अलग-अलग नाम से कॉल कर पॉलिसी लैप्स होने और मार्केट वैल्यू के गिरावट का भय पैदा करते थे। पॉलिसी स्विच करने और इनकम टैक्स के नाम पर पॉलिसी धारक से राज सिंघानिया उर्फ राजा और हरलीन के खातों में रकम डलवाता था। खातों में आई रकम कर 35 फीसदी राजा और हरलीन ले लेते थे। ये धनराशि एक अन्य आरोपी पंकज थरेजा के माध्यम से कलेक्ट कर सरगना के पास पहुंचती थी। अम्बरीश ने कई बार में 33 लाख रुपये हरलीन और 49 लाख रुपये राजा के खातों में ट्रांसफर किया है।

यूं जुटाया डाटा

सरगना ने बताया कि आरोपी संजू चौहान और पंकज थरेजा पूर्व में बीमा पॉलिसी एजेंट थे। इसके अलावा उनके साथी आशीष, सुमित, दिनेश यूनीकोन और नेट अक्बिका कंपनी में काम करते थे। इन कंपनियों का देश की 24 बीमा कंपनियों से टाइअप है। पॉलिसीधारकों का डाटा आरोपियों ने इन्ही कंपनियों से चोरी कर लिया था।

प्रोफाइल

1-शमशेर उर्फ बबलू पुत्र बदलू खां, निवासी-हौजरानी, मालवीय नगर, दिल्ली। शिक्षा-दसवीं।

2-पंकज थरेजा पुत्र गोरधन, निवासी-फरीदाबाद, हरियाणा। शिक्षा-बी कॉम।

3-राज सिंघानिया उर्फ राजा पुत्र नन्दलाल, निवासी-विजयनगर गाजियाबाद। शिक्षा-बारहवीं।

4-सुधांशू उर्फ रोहित पुत्र आशे पोरवाल, निवासी-गाजियाबाद। शिक्षा-दसवीं।

5-अजय शर्मा पुत्र धर्मेद्र, निवासी-गाजियाबाद। शिक्षा-दसवीं।

6-हरलीन कौर पुत्री मंजीत कौर, वसुंधरा, गाजियाबाद। शिक्षा-बीटेक इन इलेक्ट्रिक एंड कॉम्युनिकेशन।