देवेंद्र जाट गैंग ने ही डाली थी डकैती

जॉन एरिक समेत चार आरोपी गिरफ्तार,

6 हजार रुपए, 40 चांदी के सिक्के, यूएसए पिस्टल, तमंचा भी बरामद

BAREILLY: आखिरकार सिटी की सबसे बड़ी डकैती का पुलिस ने खुलासा कर ही दिया। पुलिस के अनुसार डकैती को देवेंद्र जाट ने ही जॉन एरिक व साथियों के साथ अंजाम दिया था। पुलिस ने जॉन एरिक समेत चार लोगों को गिरफ्तार कर जेल भी भेज दिया। हालांकि पुलिस की रॉबरी की थ्योरी और बरामद सामान को देखते हुए इसमें कई झोल नजर आ रहे हैं, लेकिन पुलिस खुलासे के बाद अपनी पीठ थपथपाने में लगी है। करीब ढाई करोड़ की डकैती में पुलिस मात्र म् हजार रुपए और ब्0 चांदी के सिक्के ही बरामद कर सकी है। इस डकैती के खुलासे में पुलिस की 8 टीमें लगीं, क्78 क्रिमिनल्स से पूछताछ की गई और ख्भ्0 फोटो पहचान के लिए दिखाए गए। आइए बताते हैं डकैती के खुलासे की पूरी कहानी।

देवेंद्र जाट व उसके दो साथी फरार

एसपी सिटी ने बताया कि डकैती के मामले में नैनीताल निवासी जॉन एरिक, ख्वाजानगर नकटिया निवासी नासिर, नकटिया निवासी पीएसी के हेड कांस्टेबल के बेटे राजू सिंह और राधेश्याम इंक्लेव निवासी रोहित राठौर और बिल्लू को गिरफ्तार किया है। नासिर के पास से यूएसए मेड पिस्टल, ब् जिंदा कारतूस, राजू के पास से एक तमंचा, दो जिंदा कारतूस और बिल्लू के पास से एक चाकू बरामद किया है। सभी एक दूसरे को पहले से जानते हैं। बिल्लू को छोड़कर सभी बड़ी वारदातों में शामिल रहे हैं। इस मामले में देवेंद्र जाट और उसके दो अज्ञात साथी फरार चल रहे हैं।

विदेश जाने की इंफाॅर्मेशन दी

पुलिस के अनुसार ख् सितंबर की रात रामपुर गार्डन में कोरल मोटर्स के मालिक के घर डकैती की प्लानिंग की शुरुआत रोहित उर्फ बिल्लू की डेयरी से हुई थी। बिल्लू के चचेरे भाई विनय की डेयरी से अजय अग्रवाल के घर में दूध आता था। क्8 अगस्त को अजय अग्रवाल ने डेयरी पर कहलाया था कि वह कुछ दिनों के लिए परिवार के साथ विदेश जा रहे हैं इसलिए सिर्फ नौकरों के लिए दूध ही आएगा। ये बात बिल्लू ने सुन ली थी। ये बात उसने देवेंद्र को बताई।

नोएडा में मिलने गया था देवेंद्र से

फिर बिल्लू ख्ब् अगस्त को अपने दोस्त के साथ उसकी कार में नोएडा गया था। बिल्लू का दोस्त सिटी के एक बड़े व्यापारी का बेटा है। वहीं पर बिल्लू देवेंद्र जाट से मिला था। देवेंद्र से मिलने की बात व्यापारी के बेटे और उसके ड्राइवर ने भी बतायी है।

अपने-अपने रास्ते निकल गए

घटना से एक दिन पहले सभी बन्नूबाल कॉलोनी में थे। यहां से बिल्लू को छोड़कर सभी अजय अग्रवाल के घर पहुंचे और गेट खुलवाकर अंदर घुस गए। फिर सभी नौकरों को बंधक बनाकर लूटपाट की और सुबह के वक्त घर से बाहर निकल गए। सभी व्हाइट कलर की स्कॉर्पियो से आए थे। वारदात को अंजाम देने के बाद राजू बन्नूवाल कॉलोनी में चला गया था और नासिर अपने घर चला गया था। जॉन, देवेंद्र और उसके साथी अपने-अपने रास्ते चले गए थे।

पुरानी वर्दी पहनकर की लूट

पुलिस की मानें तो वारदात को बदमाशों ने पुरानी वर्दी पहनकर अंजाम दिया था। पुलिस ने बन्नूवाल कॉलोनी के मकान से एक वर्दी को भी बरामद कर लिया है। पुलिस को घर से बदमाशों के कपड़े, शराब की बोतलें और चालीस चांदी के सिक्के मिले हैं। यह घर एक अहलादपुर निवासी नरेश फौजी की पत्‍‌नी विमलेश का है।

सभी नौकरों ने की पहचान

पुलिस का दावा है कि देवेंद्र और जॉन की फोटो सभी नौकरों ने पहचान ली है। घर की नौकरानी माया और सागर ने भी देवेंद्र के फोटो को पहचान लिया। यही नहीं बन्नूवाल कॉलोनी के लोगों और मकान मालकिन ने भी किरायेदारों को पहचान लिया है। यहां की रहने वाली एक लड़की ने नासिर पर छेड़छाड़ करने का भी आरोप लगाया है।

अखबार डालने से किया था मना

डकैती डालने से पहले बन्नूवाल कॉलोनी में डेली न्यूजपेपर आता था, लेकिन वारदात से ठीक एक दिन पहले देवेंद्र ने हॉकर की दुकान पर जाकर अखबार डालने से मना किया था। लेकिन गलती से अखबार डालने वाले ने अखबार डाल दिया था, इसलिए पुलिस को बंधा हुआ बंडल भी मिला है। अखबार वाले ने भी देवेंद्र की फोटो से पहचान कर ली है।

रमेश पैसे लेकर खोल देता था गेट

कोरल मोटर्स के गेटमैन को शराब पीने की आदत है। वह अक्सर शराब पीने के लिए घर पर आने वाले लोगों से भ्0-भ्0 रुपए ले लिया करता था। उस रात भी वह नशे की हालत में था और उसने गेट खोल दिया।

हो चुकी है चार साल की सजा

जॉन और देवेंद्र जाट एक साथ बिशप कोनॉर्ड स्कूल में पढ़े हैं और बचपन के दोस्त हैं। दोनों सेना के जवान के बेटे हैं। पुलिस का दावा है कि देवेंद्र, जॉन और नासिर पहले भी एक साथ वारदातों को अंजाम दे चुके हैं। देवेंद्र और जॉन ने वर्ष ख्0क्0 में अपने साथियों आशीष कुमार, विपिन कुमार, भूषण कुमार, जितेंद्र उर्फ जीत, और विजेंद्र जाट के साथ मिलकर गुन्नौर, सोनीपत में डॉक्टर के घर डकैती की वारदात को अंजाम दिया था। इस मामले में पुलिस ने नासिर को भी गिरफ्तार कर जेल भेजा था। जॉन एरिक के बरेली स्थित घर से डकैती में इस्तेमाल कार मिली थी, जिसके बाद वह अपने परिवार के साथ भागकर हल्द्वानी में रहने लगा था। हरियाणा की कोर्ट ने राजू को भगौड़ा घोषित कर दिया था। उसे चार साल की सजा भी हो चुकी है।

फिरौती लेकर किया था मर्डर

इसके बाद देवेंद्र ने क्0 मार्च ख्0क्ब् को मुरथल सोनीपत में अपने साथियों रोहतास, दीपक अहलावत और आशीष के साथ मिलकर प्रॉपर्टी डीलर विनोद की ब्0 लाख की सुपारी लेकर हत्या की थी। इस मामले में रामपुर गार्डन डकैती के दूसरे दिन यानी फ् सितंबर को हरियाणा पुलिस ने रोहतास पर क् लाख और देवेंद्र, दीपक और आशीष पर भ्0 हजार का इनाम घोषित किया था। इसके बाद से देवेंद्र का कुछ अता-पता नहीं है। उसकी दिल्ली पुलिस भी तलाश कर रही है। राजू पर कैंट में ही दो लूट के मुकदमें दर्ज हैं और उस पर कोतवाली से गैंगस्टर भी लगा है।

एडीजी के आदेशों को ठेंगा

वारदात के खुलासे से ठीक दो दिन पहले बरेली आए एडीजी लॉ एंड ऑर्डर ने सख्त लहजे में कहा था कि रामपुर गार्डन डकैती में बिना रिकवरी के खुलासा नहीं माना जाएगा लेकिन पुलिस ने मामूली बरामदगी कर डकैती का खुलासा कर दिया। हालांकि अजय अग्रवाल ने लूट के सामान की लिस्ट पुलिस को नहीं दी थी। वहीं सीनियर अधिकारियों को भी खुलासे की जानकारी नहीं दी। दोपहर में जब आईजी विजय मीना को इसका पता चला तो उन्होंने तुरंत एसएसपी से इस बारे में पूछा लेकिन एसएसपी ने जानकारी होने से इंकार किया। फिर कुछ देर बाद एसपी सिटी आईजी से मिलने पहुंचे।

वॉट्सएप पर बताया 'डर'

पुलिस की मानें तो वारदात के आरोपी जॉन एरिक को जब पता चला कि वह पकड़ा जाएगा तो उसने अपने वॉट्सएप पर 'आई एम इन ट्रबल' का स्टेटस डाला था। यह पुलिस की खुलासे को और पुख्ता करता है।

जज के सामने बोले निर्दोष

रामपुर गार्डन डकैती में चारों आरोपियों ने बोला कि वो निर्दोष हैं। पुलिस ने उन्हें झूठा फंसाया है। इस पर पुलिस ने जज को हरियाणा का क्रिमिनल इतिहास बताया। चारों ने कहा कि चांदी के सिक्के नकली हैं इस पर जज के सामने सील खोलकर देखी गई तो चांदी के सिक्के असली निकले। इसके बाद जज ने सभी को क्ब् दिन की जेल में भेज दिया। अब चारों की जज के सामने शिनाख्त परेड करायी जाएगी और बरामद सिक्कों की पहचान करायी जाएगी।

पुलिस के खुलासे के मेन सबूत

-सभी आरोपी हार्ड कोर क्रिमिनल्स हैं

-साथ मिलकर भी दे चुके हैं वारदातों को अंजाम

-सभी एक दूसरे को अच्छी तरह से जानते हैं

-सभी रोहित उर्फ बिल्लू की डेयरी पर आते रहते थे

-सभी नौकरों ने आरोपियों की फोटो से पहचान कर ली है

-बन्नूवाल कॉलोनी की मालकिन और पड़ोसियों ने भी पहचान कर ली है

-एक दिन पहले अखबार बंद कराना

-मकान से बदमाशों के कपड़े और वर्दी मिलना

-बिल्लू का नोएडा जाकर देवेंद्र से मिलना

-चांदी के सिक्कों की बरामदगी

पुलिस की थ्योरी में हैं कई झोल

-पुलिस ने सभी आरोपियों को कई दिन से पकड़ रखा था लेकिन तीन की अरेस्टिंग ख्क् सितंबर की रात 9 बजकर फ्0 मिनट पर चौपुला से और जॉन एरिक की गिरफ्तारी जगतपुर से दिखायी

-पुलिस का दावा कि मुखबिरी के आधार पर अयूब खां चौराहा पर दबिश दी

-तीनों डकैती के सामान का हिस्सा बांट करने के लिए हरियाणा जाने के लिए सवारी का इंतजार कर रहे थे

-करीब ढाई करोड़ की डकैती में पुलिस सिर्फ म् हजार रुपये और ब्0 चांदी के सिक्के ही बरामद कर सकी

-चारों बदमाशों ने पुलिस के सामने वारदात में शामिल होना स्वीकार नहीं किया

-कागजों में नासिर ने कबूली है डकैती की वारदात