न्यूजीलैंड के लिए सबसे ज्यादा वनडे खेल चुके ऑलराउंडर डेनियल विटोरी ने मंगलवार को 50 ओवरों के प्रारूप को अलविदा कहने के साथ ही 18 साल के अपने शानदार और सम्मा्नजनक करियर के बाद क्रिकेट से पूरी तरह से विदाई ले ली. विश्व कप में फाइनल तक पहुंचे न्यूजीलैंड के शानदार प्रदर्शन के बाद 36 साल के विटोरी के वनडे करियर को लेकर अटकलें लगायी जा रही थीं. वह टेस्ट और T-20 क्रिकेट से पहले ही रिटायरमेंट ले चुके हैं.

विटोरी ने वर्ल्ड कप फाइनल में ऑस्ट्रेलिया से सात विकेट से हारने के बाद अपने देश पहुंचने के बाद वनडे क्रिकेट से संन्यास का एलान किया. उन्होंने मीडिया से बात करते हुए कहा कि यह न्यूजीलैंड के लिए मेरा आखिरी मैच था. हम जीतते तो और अच्छा लगता, लेकिन मुझे सभी खिलाडि़यों पर गर्व है. हमने पिछले छह सप्ताह बेहतरीन क्रिकेट खेला. फाइनल में पहुंचना ही गर्व की बात थी. उन्होंने ब्रेंडन मैकुलम और माइक हेसन से मिले सहयोग के लिए उनको थैंक्स कहा और साथ ही ये भी बताया कि उन्होंने कभी नहीं सोचा था कि इतनी चोटों से जूझकर वे वापसी करते हुए यहां तक पहुंच सकेंगे.

18 बरस की एज में 1997 में अपना वनडे क्रिकेट डेब्यु करने वाले विटोरी पांच विश्व कप के 32 मैचों में 36 विकेट ले चुके हैं. उन्होंने 2011 तक 32 टेस्ट और 82 वनडे में न्यूजीलैंड की कप्तानी की. विटोरी ने इस वर्ल्ड कप में भी बेहतरीन प्रदर्शन करते हुए न्यूजीलैंड को फाइनल तक पहुंचाने में अहम योगदान दिया. उन्होंने नौ मैचों में 20.46 के औसत से कुल 15 विकेट लिए और उनका इकॉनमी रेट सिर्फ 4.04 रहा. इसके बाद आइसीसी ने अपनी वर्ल्ड कप टीम में भी विटोरी को गेंदबाज के रूप में शामिल किया है.

विटोरी टेस्ट में 300 विकेट और 4000 रन तथा वनडे में 300 विकेट लेने और 2000 रन बनाने वाले दुनिया के इकलौते क्रिकेटर हैं. उनसे पहले कपिल देव और इयान बॉथम टेस्ट में 300 विकेट लेने और 4000 रन बनाने का कारनामा कर चुके हैं.

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