-2008 के मुंबई हमले की तरह बड़े हमले की रची थी साजिश

PATNA: पाकिस्तानी आतंकी संगठन लश्करे तैयबा ने वर्ष 2008 के मुंबई हमले की तरह भारतीय सेना के किसी रेजिमेंट सेंटर या हाइड्रो पावर प्रोजेक्ट पर हमले की साजिश रची थी। गोपालगंज से गिरफ्तार लश्करे तैयबा का कथित एजेंट धन्नु राजा उर्फ बेदार बख्त को लश्करे तैयबा की खुफिया शाखा से जुड़े अ?दुल नईम शेख ने भारतीय सेना के रेजिमेंटल सेंटर और हाइड्रो पावर प्रोजेक्ट की रेकी करने का काम दिया था। इसके एवज में धन्नु को 7 लाख रुपए मिली थी।

कई चौंकाने वाले खुलासे

विगत 2 दिसंबर को गोपालगंज में एनआइए के हत्थे चढ़े धन्नु राजा ने एनआइए की पूछताछ में कई चौंकाने वाले खुलासे किए। सूत्र बताते हैं कि महाराष्ट्र के औरंगाबाद का रहने वाले अ?दुल नईम शेख की गतिविधियों की भारतीय खुफिया एजेंसी 7 महीने से नजर रख रही थी। उसे 28 नवंबर को वाराणसी से एनआइए की टीम ने गिरफ्तार किया था। बाद में नईम शेख ने ही एनआइए की पूछताछ में गोपालगंज का रहने वाले धन्नु के बारे में बताया था।

सोशल मीडिया पर था एक्टिव

धन्नु सोशल मीडिया पर 6 महीने से भी अधिक समय से नईम शेख के संपर्क में था और उसके निर्देशों का पालन कर रहा था। नईम शेख ने धन्नु को लाखों रुपए उपल?ध कराए थे। वह धन्नु के माध्यम से बिहार-नेपाल की सीमा पर लश्करे तैयबा के लिए स्लीपर सेल तैयार करने की साजिश रच रहा था।

लश्कर के आका दे रहे थे निर्देश

एनआइए सूत्रों के अनुसार नईम शेख को पाकिस्तान में बैठे लश्करे तैयबा के आकाओं ने भारत के सैन्य अ्रड्डों और हाइड्रो पावर प्रोजेक्ट की रेकी करने का जिम्मा दिया था। शेख को लश्कर ने वही जिम्मेदारी दी थी जो वर्ष 2008 के मुंबई हमले के लिए पाक-अमेरिकी नागरिक डेविड कोलमैन हेडली को मिली थी। शेख कश्मीर, हिमाचल प्रदेश, उलर प्रदेश समेत देश के कई राज्यों का दौरा कर चुका था। उसके पास से वाराणसी स्थित सैन्य ठिकानों के नक्शे और हिमाचल प्रदेश के कैसल स्थित हाइड्रो पावर प्रेजेक्ट के नक्शे बरामद किए गए हैं।