जीएसटी काउंसिल के फैसले का शहर के व्यापारियों ने किया स्वागत

ALLAHABAD: जीएसटी काउंसिल की मिटिंग में शुक्रवार को लिए गए फैसलों ने शहर के व्यापारियों को बड़ी राहत दी है। वित्त मंत्री अरुण जेटली की घोषणा के बाद दैनिक जागरण आई नेक्स्ट रिपोर्टर से बातचीत में व्यापारी इस बात पर ज्यादा खुश नजर आए कि सरकार ने उनकी बात आखिर सुननी तो शुरू कर दी। व्यापारियों का कहना है कि सरकार के फैसले से छोटे और मझोले व्यापारियों को बड़ी राहत मिलेगी। कंपोजीशन स्कीम का दायरा बढ़ाना और डेढ़ करोड़ से कम टर्नओवर वाले व्यापारियों को तीन माह में रिटर्न फाइल करने की छूट व्यापारियों को रास आई है। हालांकि व्यापारियों का कहना है कि अभी अन्य मांगों को लेकर सरकार से जंग जारी रहेगी।

सरकार के फैसले से 80 से 90 फीसदी व्यापारियों को फायदा हुआ है। अधिकतर व्यापारियों का टर्नओवर डेढ़ करोड़ से कम है। अब उनको हर तीन महीने में रिटर्न फाइल करना होगा। इससे उन्हें बड़ी राहत मिली है। हालांकि टैक्स उन्हें हर महीने भरना होगा।

-महेंद्र गोयल,

प्रदेश अध्यक्ष, कैट

यह कम नहीं है कि सरकार ने व्यापारियों की सुननी शुरू कर दी है। लंबे समय से हमारी मांग जारी थी। हमारा कहना था कि कंजोपिशन की सीमा को दो करोड़ किया जाए। जो लिमिट डेढ़ करोड़ हुई है उसे पांच करोड़ करने की मांग की गई थी।

-अभिषेक अग्रवाल, व्यापारी

एडवांस पेमेंट पर टैक्स खत्म कर दिया गया है। इसके अलावा स्टेशनरी, डीजल पा‌र्ट्स, आयुर्वेदिक दवाओं आदि पर टैक्स की सीमा को भी कम करना बेहतर कदम है।

-अजय गुप्ता, व्यापारी

कई मांगें अभी सरकार से हमारी जारी है। नवंबर में फिर से जीएसटी काउंसिल की बैठक होगी। इसमें हमारी मांगों को फिर से माना जाए तो इसका स्वागत किया जाएगा।

-विभु अग्रवाल

ज्वैलरी सेक्टर में भी पैन छूट की सीमा को बढ़ा दिया गया है। आयुर्वेदिक दवाओं पर भी टैक्स से राहत दी गई है। बड़े व्यापारियों को इससे ज्यादा फायदा नहीं हुआ। लेकिन, यह सरकार का अच्छा फैसला रहा।

-परमजीत सिंह,

महासचिव, इलाहाबाद ड्रगिस्ट एंड केमिस्ट एसोसिएशन