RANCHI :सुपाय पूर्ति की उम्र सिर्फ 15 महीने है। उसे जन्म से हार्निया था। मां-बाप इतने गरीब कि रांची तक आने का पैसा नहीं। डॉक्टर की फीस कहां से दें। उसकी बीमारी के कारण घरवाले परेशान थे। लेकिन, अब रिम्स में वह इत्मीनान से लेटा है। उसके हार्निया का ऑपरेशन हो चुका है और इसी सप्ताह वह अपने गांव वापस लौट जाएगा। रिम्स में उसका इलाज कराया है सेवानिवृत आइएएस अधिकारी जेबी तुबिद ने.बुधवार की शाम जेबी तुबिद ने रिम्स पहुंचकर सुपाय के स्वास्थ्य की जानकारी ली। उनके साथ मौजूद राजेश कुदादा ने बताया कि तुबिद की पहल पर अभी तक सैकड़ों मरीजों का इलाज कराया गया है।

नहीं थे इलाज के पैसे

वेस्ट सिंहभूम जिले के खूंटपानी प्रखंड का गांव है लोटा। इस गांव में रहते हैं सुपाय के पिता सोनाराम पूर्ति। सोनाराम ने बताया कि पिछले दिनों पूर्व गृह सचिव जे बी तुबिद उनके गांव आए थे। वहीं पर उन्हें सुपाय की बीमारी के बारे मे बताया गया। बकौल सोनाराम उनके पास इलाज को पैसे नहीं थे। तुबिद ने उन्हें सुपाय के आपरेशन का भरोसा दिलाया। फिर उन्होंने ही रांची लाने की व्यवस्था कराई और रिम्स में भर्ती कराया। डॉ हिरेंद्र बिरुआ और डॉ। विकास कुमार प्रसाद ने सुपाय का ऑपरेशऩ किया। डॉक्टरों के मुताबिक इसी सप्ताह उसे अस्पताल से छुट्टी मिल जाएगी। सुपाय की मां नीलिमा ने बताया कि तुबिद नहीं होते तो उनके बेटे का इलाज नहीं हो पाता।