PATNA : मुझे तीन लाख रुपए की जरूरत थी। घर से मुझे सभी ने अलग कर दिया था। मैं कुछ करना चाहता था। एक कंप्यूटर इंस्टीच्यूट खोलना चाहता था। इस लिए मैंने गलत तरीके से वेबसाइट बनाई। ये कबूल नामा है उस शातिर का जो सरकार एजेंसी के नाम पर ही पब्लिक को चुना लगाने चला था। इसका नाम हैं विशाल बाबू माथुर। जो सीवान जिले के चैनपुर का रहने वाला है। दरअसल, इस शातिर ने बिहार स्टेट फूड एंड सिविल सप्लाईज कॉरपोरेशन लिमिटेड के नाम से एक फर्जी वेबसाइट बना डाली थी। जिसके जरिए ये पब्लिक को ठग रहा था। राशन कार्ड बनवाने के नाम पर हर एक व्यक्ति से दो हजार रुपए की ठगी कर रहा था। अब तक उसने क्भ् लोगों से फ्0 हजार रुपए की ठगी की। ये रुपए उसने अपने बैंक अकाउंट में मंगवाए थे।

- सचिवालय में दर्ज हुआ था एफआईआर

इस फर्जीवाड़े की जानकारी कॉरपोरेशन कें अधिकारियों को हुई। उप प्रमुख कंप्यूटर अजय कुमार ने इस मामले में क्म् मई को सचिवालय थाने में एफआईआर दर्ज कराई थी। एसएसपी मनु महाराज के निर्देश पर पुलिस टीम ने तेजी से इंवेस्टिगेशन किया। फिर शातिर को गिरफ्तार कर लिया। इसके पास से लैपटॉप, एटीएम कार्ड, बैंक पासबुक, पेन ड्राइव और एक लाख रुपए कैश बरामद किया गया। एसएसपी ने खुद उससे पूछताछ की। शातिर के पिता प्रेम बाबू माथुर एक्स आर्मी मैन हैं।