अफसरों को हड़का गये जीएम साहब

इंट्रो

वो आए और डेवलपमेंट के आधे सच से रू-ब-रू हो ही गये। बदहाली देख वो झल्लाए भी और अपने अफसरों को दो टूक अंदाज में उन्होंने वॉर्न भी किया। कहा, अगर आपसे काम संभल नहीं रहा है तो ट्रांसफर करा कर निकल लीजिए यहां से। 'वो' थे नॉर्दन रेलवे के जीएम। गुरुवार को कैंट स्टेशन के निरीक्षण के दौरान क्या कुछ गुल खिला चलिए अंदर बताते हैं

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अंदर के पेज की हेडिंग

नहीं संभल रहा तो ट्रांसफर करा लो अपना!

क्रॉसर्स

इंस्पेक्शन के दौरान जीएम नॉदर्न रेलवे ने कैंट स्टेशन पर अफसरों को लताड़ा

सिकोड़ा नाक-भौं, कहा, पीएम के एरिया में रहना है तो काम करना होगा

VARANASI :

डिपार्टमेंट के डेवलपमेंट वर्क को यदि नहीं करा सकते हैं तो काम छोड़ दीजिए। दूसरे स्टेशन पर ट्रांसफर करा लीजिए। यहां रहना है तो काम करना ही होगा। ये शब्द नॉदर्न रेलवे के जीएम प्रदीप कुमार के हैं। गुरुवार को बनारस पहुंचे जीएम ने कैंट स्टेशन के इंस्पेक्शन के दौरान अपने मातहतों के बीच कई बार इस तरह के जुमले का प्रयोग किया। सीधे सीधे कहा नहीं संभल रहा तो छोड़ दो। अपना काम जब जिम्मेदारी से नहीं कर पा रहे तो छोड़ने में क्या हर्ज है?

पॉइंट पॉइंट पर किया यूज

सुबह लिच्छवी एक्सप्रेस से बनारस पहुंचे जीएम ने कुछ देर आराम के बाद क्क् बजे तक ऑफिसर्स संग मीटिंग किया। इसके बाद निकले पड़े स्टेशन का इंस्पेक्शन करने। एक के बाद एक पॉइंट को देखते रहे और ऑफिसर्स को इशारों में वॉर्निग की घुट्टी पिलाते रहे। जहां मौका मिला बस दोहरा दिया 'नहीं संभल रहा तो छोड़ दो' का जुमला। सेकेंड एंट्री पॉइंट से सर्कुलेटिंग एरिया के बीच लगभग दो घंटे में उन्होंने ऑफिसर्स से साफ साफ कहा कि समझते नहीं हो, यह किसके एरिया का स्टेशन है। यहां वर्क को केवल टालने से काम नहीं चलेगा, उसका रिजल्ट भी दिखना चाहिए।

तैयारी का किया ऑपरेशन

वैसे तो जीएम के इंस्पेक्शन के मद्देनजर कैंट स्टेशन के कोने कोने पर ऑफिसर्स ने नजर डाली थी। उन्हें चुस्त दुरस्त करने का हरसंभव प्रयास किया था। लेकिन जीएम साहब ने अपने इंस्पेक्शन में स्टेशन के सारे पॉइंट्स की बखिया उधेड़ दी। सेकेंड एंट्री पॉइंट पर जहां अव्यवस्था निशाने पर रहा वहीं फुट ओवर ब्रिज पर चढ़ते ही उन्हें बजबजाती नालियां दिख गयीं। प्लेटफॉर्म नंबर पांच पर स्थित स्टेशन सुप्रीटेंडेंट रूम में लगे इंपॉर्टेट टेलीफोन नंबर्स, फूड कॉर्नर की समरी, जीआरपी थाना, इंक्वायरी विंडो, यूटीएस काउंटर हॉल, फूड प्लाजा एरिया की उपयोगिता के अलावा कैंपस में स्थित सभी सात पीसीओ के औचित्य पर जीएम के सवालों के बौछार ने ऑफिसर्स को पानी पानी कर दिया। बिल्डिंग से बाहर निकलते ही उनके निशाने पर सर्कुलेटिंग एरिया रहा। जिसमें उन्होंने रोड साइड की बाउंड्री को ऊंचा करने के साथ ही कूड़ा फेंकने वालों के खिलाफ पॉल्यूशन बोर्ड को लेटर लिखने का ऑर्डर दिया।

रिजर्वेशन काउंटर से मिलेगा यूटीएस

आखिर जीएम का दिल जनरल टिकट लेने वालों के दर्द से पसीज गया। उन्होंने बिना देर किए रिजर्वेशन सेंटर के खाली पड़े काउंटर से यूटीएस डिस्ट्रिब्यूट करने का ऑर्डर दिया। कहा यहां एयर कंडीशंड टिकट घर का बोर्ड लगाकर यूटीएस डिस्ट्रिब्यूट किया जाए। इसके अलावा मैन पावर का मिसयूज रोकने के लिए रिजर्वेशन सेंटर में रिक्यूजिशन फॉर्म के लिए जगह जगह पॉकेट बनाने का निर्देश दिया। मजेदार बात यह कि सेंटर में इंस्पेक्शन के दौरान वो क्लॉक रूम में पहुंच गए। जहां तैनात कर्मचारी ने पूछने पर क्लाक रुम में ख्0 बैग रखे होने की सूचना दी। जब क्लाक रूम खोलकर बैग दिखाने को कहा तो ऑफिसर्स बगले झांकने लगे। कारण कि यहां बैग केवल कागज पर जमा थे। बहरहाल पूछताछ के बाद वो आगे बढ़ गए।

बदलाव एक दिन में नहीं : प्रदीप कुमार

लगभग दो घंटे तक स्टेशन के चप्पे चप्पे का इंस्पेक्शन करने के बाद जीएम प्रदीप कुमार मीडिया से रूबरू हुए। दो महीने पहले और अब की स्थिति के सवाल पर कहा कि बदलाव हुआ है। सफाई सहित अन्य कार्यो में डेवलपमेंट नजर आया है। बंद पड़े एस्केलेटर के बाबत पूछने पर कहा कि टेक्निकल ट्रायल चल रहा है, जल्द ही यह पूरा हो जाएगा। बताया कि यार्ड की रिमाडलिंग के लिए गवर्नमेंट ने क्90 करोड़ रुपये सेंशन किया है। जिससे होने वाले वर्क के बाद ट्रेंस का मूवमेंट काफी बेहतर हो जाएगा। गुड्स ट्रेन के लिए स्टेशन पर दो अलग ट्रैक बनाया जाएगा। कहा कि सेकेंड एंट्री की तरफ आर्मी से और प्लेस मांगने का प्लैन है। जिसके बाद फ‌र्स्ट एंट्री से लोड को डायवर्ट कर दिया जाएगा। उन्होंने प्लेटफार्म का लेंथ बढ़ाने, स्टेशन पर सफाई कर्मियों की संख्या में इजाफा करने सहित सुपरवाइजर का अप्वाइंटमेंट करने की जानकारी दी।