BAREILLY: आई नेक्स्ट की जीएम पेंस हैंडराइटिंग एक्टिविटी ने अपने पहले चरण के सफल आयोजन के बाद जब दूसरे चरण की शुरुआत की तो स्टूडेंट्स और स्कूल और मैनेजमेंट की उत्सुकता देखते ही बनी। अब तक अधिकांश स्टूडेंट्स और स्कूल्स मैनेजमेंट को यह मालूम चल चुका था कि एक्टिविटी की खासियत क्या है और यह किस तरह से स्टूडेंट्स के लिए हेल्पफुल है। दूसरे दिन शहर के चार स्कूलों में यह एक्टिविटी कंडक्ट की गई। स्टूडेंट्स में गजब का क्रेज देखने को मिला।

बीबीएल

हैंडराइटिंग के नाम पर भले ही स्टूडेंट्स आनाकानी करते हों, लेकिन आई नेक्स्ट की हैंडराइटिंग एक्टिविटी में पार्टिसिपेट करने के लिए ट्यूजडे को बच्चों का उत्साह चरम पर था। सभी स्टूडेंट्स में होड़ लगी थी कि वे अपनी हैंडराइटिंग को ब्यूटीफुली प्रजेंट कर सकें। इसी मंशा से बच्चों ने पेपर पर दिए हुए रिटन मैटीरियल को अपनी हैंडराइटिंग में उकेरना शुरू कर दिया। इस दौरान किसी प्रकार की कोई गलती न हो इसका भी ध्यान बच्चों ने रखा। एक्टिविटी में यहां के 650 बच्चों ने पार्टिसिपेट किया

आई नेक्स्ट की यह जीएम पेंस एक्टिविटी एक उत्कृष्ट प्रयास है। इस तरह की एक्टिविटी से बच्चों की पर्सनैलिटी डेवलप होती है। बच्चों अवेयर होते हैं और अपनी हैंडराइटिंग में सुधार के लिए प्रयासरत रहते हैं।

-दीपक अग्रवाल, प्रिंसिपल, बीबीएल

जब से एक्टिविटी के बारे में पता चला है मैं काफी एक्साइटेड हो गया था। पहली बार इस तरह की किसी एक्टिविटी में पार्टिसिपेट करने का अवसर जो मिल रहा था। मैने पूरे मन से लिखा है।

-एकाग्र, स्टूडेंट

फ‌र्स्ट प्राइज किसे मिलेगा मुझे मालूम मालूम नहीं है। हैंडराइटिंग कॉम्पिटीशन में भाग लेकर अच्छा लगा। इस तरह की एक्टिविटी हमेशा होनी चाहिए। यह अलग तरह की है।

-सूर्याश, स्टूडेंट

्री डॉट्स

खेलने-कूदने की उम्र में भी हैंडराइटिंग कॉम्पिटीशन में पार्टिसिपेट करने को लेकर बच्चों के चेहरे पर एक अलग ही मुस्कान थी। हो भी क्यों न उन्होंने ऐसी एक्टिविटी के बारे में पहली बार जो सुना था। क्लास अटेंड करने के वक्त भी बच्चों में कॉम्पिटीशन में पार्टिसिपेट करने की उत्सुकता बनी रही। जैसे ही बच्चों को पेन और पेपर मिला वह अपना हुनर प्रदर्शित करने में जुट गए। एक्टिविटी शुरू होने से पहले स्कूल के टीचर्स ने बच्चों को गाइड भी किया। ताकि, आंसर देते वक्त किसी प्रकार की गड़बड़ी न हो।

बच्चों में ग्रोथ के लिए इस तरह की एक्टिविटी बेहद जरूरी होती है। इससे बच्चों में कॉम्पिटीशन की भावना तो पैदा होती है। साथ ही, वे अपने लेखनी में भी सुधार लाते हैं। आई नेक्स्ट की यह एक्टिविटी काफी सराहनीय है।

-सौरभ मेहरोत्रा, डायरेक्टर

मैं घर पर रोजाना राइटिंग सुधारने के लिए प्रैक्टिस करता हूं। एक्टिविटी में भाग लेकर अब तक की गई प्रैक्टिस को प्रूफ करने का मौका मिला। मुझे अच्छा प्लेटफॉर्म मिला अपनी प्रैक्टिस को दिखाने का।

-तजिन, स्टूडेंट

एक्टिविटी में पार्टिसिपेट कर मैंने अपना बेस्ट देने का प्रयास किया है। अब देखिए रिजल्ट क्या होता है। रिजल्द जो भी हो एक्टिविटी में भाग लेकर बहुत अच्छा लगा। एक अलग अनुभव था।

-फरीद, स्टूडेंट

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राधा माधव

यहां पर स्कूल शुरू होने के साथ ही एक्टिविटी की भी शुरुआत होनी थी। ऐसे में सभी स्टूडेंट्स केवल एक्टिविटी को लेकर ही आपस में चर्चा कर रहे थे। टीचर्स से भी वे क्वैरी कर रहे थे। कैसी होगी एक्टिविटी क्या करना होगा, कुछ इस तरह के क्वेश्चंस बच्चों के मन में कौंध रहे थे। फिर वह पल आ ही गया जब बच्चों को पेन व पेपर मिला। इसके बाद वे जुट गए अपनी हैंडराइटिंग को सुंदर तरीके से प्रदर्शित करने में। आई नेक्स्ट की एक्टिविटी में इस स्कूल के करीब 1,000 बच्चों ने भाग लिया।

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जय नारायण

जय नारायण स्कूल में भी बाकी स्कूलों की तरह बच्चों में काफी उत्सुकता देखने को मिली। बच्चों ने बताया कि उन्होंने कई तरह के कॉम्पिटीशंस में प्रतिभाग किया है, लेकिन इस तरह की एक्टिविटी आज तक सुनी नहीं। इसलिए इसमें पार्टिसिपेट करने के लिए वे काफी समय से बेसब्री से वेट कर रहे थे। स्कूल के टीचर्स ने भी बच्चों को गाइड किया कि इस एक्टिविटी में उन्हें कैसे और क्या प्रदर्शन करना है। एक्टिविटी में इस स्कूल के करीब 360 स्टूडेंट्स ने पार्टिसिपेट किया।