-पुलिस को चकमा देकर राजीव चौक पहुंचे तीन दर्जन दिव्यांग

-पुलिस पर पिटाई व ट्राइसाइकिल तोड़ने का आरोप

LUCKNOW (17 Oct): राष्ट्रीय विकलांग पार्टी के कार्यकर्ताओं ने सोमवार को सीएम आवास पर जोरदार प्रदर्शन किया। पुलिस को चकमा देकर सीएम आवास पहुंचे दिव्यांगों ने करीब दो घंटे तक धरना दिया। इस दौरान पुलिसकर्मी प्रदर्शनकारियों से हटने के लिए मिन्नतें करते रहे। आखिरकार पार्टी के नेताओं से वार्ता के बाद प्रदर्शनकारी शांत हुए और वापस लौटे। पार्टी के राष्ट्रीय महासचिव ने पुलिस पर पार्टी कार्यकर्ताओं की पिटाई और ट्राइसाइकिल तोड़ने का आरोप लगाया है। उन्होंने इसके खिलाफ मानवाधिकार आयोग जाने की बात कही है।

पुलिस को चकमा देकर पहुंचे राजीव चौक

राष्ट्रीय विकलांग पार्टी के कार्यकर्ताओं ने चारबाग से सीएम आवास तक मार्च करने की घोषणा की थी। सोमवार सुबह से ही पार्टी के कार्यकर्ता चारबाग में जुटने लगे थे। हालांकि, यहां पहले से तैनात पुलिस ने उन्हें आगे बढ़ने से रोक दिया। पर, कुछ कार्यकर्ता दूसरे रास्ते से होते हुए गांधी प्रतिमा जा पहुंचे। लेकिन, वहां मौजूद पुलिसकर्मियों ने इन कार्यकर्ताओं को रोककर वापस चारबाग भेज दिया। इसी बीच करीब तीन दर्जन कार्यकर्ता पुलिस को चकमा देकर सीएम आवास के करीब राजीव चौक पहुंच गए और सड़क पर बैठकर धरना शुरू कर दिया।

बीच सड़क दिव्यांगों को देख पुलिस के उड़े होश

अचानक पहुंचे दिव्यांगों को बीच सड़क बैठा देख पुलिसकर्मियों के होश उड़ गए। उन्होंने आनन-फानन प्रदर्शनकारियों को वहां से हटने की गुजारिश की। पर, वे बिना मांगे पूरी किये हटने को तैयार न हुए। करीब दो घंटे तक प्रदर्शनकारी धरना देते रहे। उधर, दोपहर करीब दो बजे पार्टी नेताओं के प्रतिनिधिमंडल की सचिव विकलांग कल्याण से वार्ता कराई गई। सचिव ने प्रतिनिधिमंडल को उनकी मांगों पर सहानुभूतिपूर्वक विचार का आश्वासन दिया। जिसके बाद वे सभी वापस चारबाग लौट गए। वहीं, जब इसकी खबर सीएम आवास पर प्रदर्शन कर रहे पार्टी कार्यकर्ताओं को मिली तो उन्होंने भी अपना प्रदर्शन खत्म कर दिया और चारबाग लौट गए। जहां पार्टी नेताओं ने मांगे पूरी होने तक धरना जारी रखने का एलान किया। जिसके बाद पुलिस ने सभी प्रदर्शनकारियों को रमाबाई अंबेडकर मैदान भेज दिया। उन्होंने इसके खिलाफ मानवाधिकार आयोग जाने की बात कही है।

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यह हैं मांगे

- 300 रुपये प्रति माह मिलने वाली पेंशन को 2500 रुपये प्रति माह किया जाए।

- दिव्यांगों का आरक्षण कोटा 10 प्रतिशत किया जाए।

- आरक्षित सीटों पर जल्द भर्ती शुरू की जाए।