फलों पर एक पीएलयू कोड चिपका होता

फलों में चिपके कई स्टीकर में उनके दाम, एक्सपायरी डेट दर्ज होती है। इसके अलावा इसमें एक पीएलयू यानी कि Price look-up code कोड होता है। यह कोड फलों की गुणवत्ता को दर्शाता है। पीएलयू कोड में एक विशेष अंक से कोड की शुरुआत होती है।

महंगे नहीं होते ये फल...यहां जानें फलों पर च‍िपके इन स्‍टीकर्स का असली मतलब

जैविक रूप से उगाए जाते हैं ये फल

कुछ फलों में पांच अंकों की संख्या वाले स्टीकर लगे होते हैं और उनका कोड 9 अंक से शुरू होता है। जैसे जिन स्टीकर पर (93435) लिखा होता है तो इसका अर्थ है कि ये फल जैविक रूप से उगाए गए हैं। इसलिए ये फल भले ही थोड़े कीमती हों लेकिन सेहत के लिए अच्छे होते हैं।

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गैर-ऑर्गेनिक फल की कैटेगरी में शामिल

वहीं कुछ फलों में पांच अंकों की संख्या वाले स्टीकर पर कोड 8 के अंक से शुरू होता है। जैसे इन स्टीकर पर (84131) लिखा होता है। ऐसे में साफ है कि इन फलों में अनुवांशिक संशोधन किया गया है। इस तरह के फल गैर-ऑर्गेनिक फल की कैटेगरी में शामिल होते हैं।

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कीटनाशक और रसायनों से तैयार फल

कुछ फलों में चार अंको की संख्या वाले स्टीकर लगे होते हैं। इन स्टीकर पर जैसे (4026) लिखा होता है। इसका मतलब साफ है कि इस तरह के फल कीटनाशक और रसायनों द्वारा उगाए गए हैं। इस स्टीकर वाले फल ऑर्गेनिक फलों की तुलना में काफी सस्ते होते हैं।

 

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