- एलडीए की बोर्ड मीटिंग में निर्णय

- तीन माह में जमा करना होगा पैसा, अन्यथा आवंटन निरस्त

LUCKNOW: एलडीए ने सोमवार को फ्लैट सस्ते करने की घोषणा करते हुए लखनवाइट्स को दीपावली का गिफ्ट दिया। एलडीए ने कास्टिंग की नई नियमावली लागू कर दी है। जिससे एलडीए की योजनाओं में फ्लैट के रेट्स में काफी कमी आएगी। इसके साथ ही एलडीए ने व्यवसायिक संपत्तियों को भी छह माह के लिए फ्रीज कर दिया है। मतलब अब उनके रेट नहीं बढ़ेंगे। यह सभी निर्णय प्रमुख सचिव सदाकांत की अध्यक्षता में हुई बोर्ड बैठक में लिए गये।

नई नियमावली लागू

सोमवार को एलडीए की 159वीं बोर्ड बैठक के बाद एलडीए वीसी डॉ। अनूप यादव ने बताया कि फ्लैट की कॉस्टिंग के लिए नई नियमावली लागू की गई है। जिससे कीमतों में कमी आएगी। उनहोंने बताया कि इंट्रेस्ट रेट ईडब्ल्यूएस के लिए 10 से 9, एलआईजी व एमआईजी के लिए 11 से 10, एचआईजी के लिए 15 से 13 परसेंट किया गया है। कई अन्य दरें भी कम की गई हैं। इससे किस्त में कमी आएगी। साथ ही फ्लैट की कुल कीमत में भी कमी आएगी। इसके अलाव भवन निर्माण की लागत पर वसूला जाने वाला शुल्क 30 फीसद से 15 फीसद कर दिया गया है।

तीन माह में देनी होगी किस्त

आवंटियों को अब अपनी प्रॉपर्टी के लिए तय समय में किस्त देनी होगी। अन्यथा आवंटन रद्द कर दिया जाएगा और जमा राशि वापस कर दी जाएगी। एलडीए वीसी ने बताया कि नई आवंटन नीति में व्यवस्था की गई है कि तय समय में फ्लैट या प्लाट की कीमत न जमा की गई तो उसके बाद तीन माह का ग्रेस पीरियड दिया जाएगा। अगर उसमें भी कीमत जमा न की तो आवंटन स्वत: रद्द हो जाएगा। आगे आने वाली सभी योजनाओं में यह लागू होगा।

महायोजना 203 अनुमोदित

बोर्ड बैठक में लखनऊ महायोजना 2031 को अनुमोदित कर दिया गया। इसके लिए बाद इसे लागू करने के लिए शासन को भेजा जाएगा। इससे पहले महायोजना में आई आपत्तियों को भी दूर कर लिया गया। अब पूरा लखनऊ को 9 जोन में बांटने के लिए एलडीए अधिकारियों से अनुमोदन मांगा जाएगा।

दुकानों के रेट फ्रीज

कॉमर्शियल दुकानों की चाह रखने वालों के लिए एलडीए ने एक और तोहफा दिया है। एलडीए ने सभी कॉमर्शियल प्रॉपर्टी के रेट अगले छह माह के लिए फ्रीज कर दिए हैं। मतलब इनकी दरों में किसी भी प्रकार की बढ़ोत्तरी नहीं होगी। इससे कुछ माह बाद भी पुराने रेट पर ही लोग दुकानें ले सकेंगे। उल्लेखनीय है कि एलडीए के पास 600 से ज्यादा ऐसी दुकानें हैं जिन्हें लोग लेने के लिए आगे नहीं आ रहे हैँ।

500 मीटर में एमआरटीएस

एलडीए की बोर्ड मीटिंग में मेट्रो रूट के 500 मीटर दायरे में 'मास रैपिड ट्रांजिट सिस्टम (एमआरटीएस)' कॉरीडोर्स के साथ ट्रांजिट ओरिएंटेड डेवलपमेंट जोन की घोषणा की है। इस दायरे में आने वाला पूरा इलाका मेट्रो की सहमति से ही विकसित होगा और उस पर उसी का अधिकार होगा।

बदला गया भूउपयोग

बैठक में 72 व 258 मामलों को भूउपयोग बदलने के प्रस्ताव पर विचार करते हुए नियमों के तहत उपयोग बदलने को हरी झंडी दे दी गई। ये सभी रेजीडेंशियल हैं और कॉमर्शियल यूज हो रहा है। अगर कोई आवंटी आगे उपयोग बदलने के लिए आवेदन करता है तो नए नक्शा पास कराना होगा और कॉमर्शियल नियमों के तहत उपयोग बदल दिया जाएगा।

ये प्रस्ताव भी पास

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