-रिवॉल्वर के बल पर तीन बदमाशों ने दिया वारदात को अंजाम

-ई-मेल के जरिए यूएसए में रहने वाले बेटे को दी वारदात की सूचना

-बदमाशों का सुराग लगाने के लिये पुलिस ने ली स्निफर डॉग व फिंगर प्रिंट स्पेशलिस्ट की मदद

LUCKNOW: मडि़यांव एरिया में शनिवार देर रात हथियारबंद नकाबपोश बदमाशों ने एक जज के मकान पर धावा बोलते हुए वहां किराये पर रह रहे दवा व्यवसायी को बंधक बना लिया। इसके बाद बदमाशों ने करीब डेढ़ लाख रुपये की ज्वैलरी व अन्य कीमती सामान समेट लिया और मौके से फरार हो गए। सुबह जानकारी मिलने पर पहुंची पुलिस ने बदमाशों का सुराग लगाने के लिये स्निफर डॉग और फिंगर प्रिंट स्पेशलिस्ट्स को मौके पर बुलाया। पर, बदमाशों का सुराग लग नहीं सका। फिलहाल पुलिस ने भुक्तभोगी दवा व्यवसायी की तहरीर पर अज्ञात लुटेरों के खिलाफ एफआईआर दर्ज कर ली है।

घर में थे अकेले

मडि़यांव के सेक्टर बी स्टेट बैंक कालोनी में बिहार मे तैनात जज ओम प्रकाश भारती का दो मंजिला मकान है। इस मकान के ग्राउंड फ्लोर को गोरखपुर के मूल निवासी व पेशे से दवा व्यवसायी विनोद कुमार श्रीवास्तव ने किराये पर ले रखा है। विनोद के परिवार में उनकी वाइफ, दो बेटियां और एक बेटा है। उनकी दोनों बेटियों की शादी हो चुकी है जबकि बेटा यूएसए में सॉफ्टवेयर इंजीनियर है। विनोद ने बताया कि इन दिनो उनकी वाइफ नोएडा में बड़ी बेटी के घर गई हुई है, और वह इन दिनों घर में अकेले हैं।

पीछे के रास्ते से दाखिल हुए बदमाश

विनोद के मुताबिक, बीती रात वह बेडरूम में सो रहे थे। करीब तीन बजे तीन नकाबपोश बदमाश मकान के पीछे के रास्ते से घर में दाखिल हुए और वहां रखा सामान समेटने लगे। इसी बीच आहट सुनकर उनकी नींद खुल गई और वह माजरा समझने के लिये ड्राइंग रूम में आ पहुंचे। विनोद को देखते ही बदमाशों ने उन पर रिवॉल्वर तान दिया और एक बदमाश ने हाथ में मौजूद लाठी से उनके पैर में ताबड़तोड़ कई वार कर दिये। जिससे विनोद वहीं जमीन पर धराशायी हो गए। इसके बाद बदमाशों ने ड्राइंग रूम में लगे पर्दे निकाल लिये और उससे उनके हाथ व पैर बांध दिये। विनोद को पूरी तरह बंधक बना लेने के बाद बदमाशों ने उनसे अलमारी की चाभियां मांगी। पर, विनोद ने चतुराई दिखाते हुए खुद को मकान का केयरटेकर बताते हुए चाभियों की जानकारी होने से इनकार कर दिया।

पीछे के रास्ते से हुए फरार

विनोद ने बदमाशों को झांसा दिया कि घर के मालिक बाहर रहते हैं। उनकी बात का विश्वास मानकर बदमाशों ने घर को खंगालना शुरू किया। इसी दौरान कुछ चाभियां बेडरूम की मेज पर रखी मिली। इन चाभियों की मदद से बदमाशों ने अलमारियों के लॉकर खोले और उसमें रखी करीब डेढ़ लाख रुपये की ज्वैलरी समेट ली। इसके बाद बदमाशों ने वहां रखी एलईडी टीवी और अन्य इलेक्ट्रॉनिक सामान के अलावा विनोद के दोनों मोबाइल फोन समेट लिये और शोर मचाने पर जान से मारने की धमकी देते हुए मकान के पिछले रास्ते से फरार हो गए।

ई-मेल से बेटे को दी वारदात की सूचना

बदमाशों के फरार हो जाने के बाद विनोद ने खुद को किसी तरह अपने हाथ और पैर आजाद किये। इसके बाद उन्होंने पुलिस को सूचना देने के लिये मोबाइल तलाशे पर, दोनों मोबाइल फोन नदारद मिले। विनोद ने बताया कि इसी बीच उन्हें ध्यान आया कि उस वक्त अमेरिका में उनका बेटा प्रतीक अपने ऑफिस में होगा। उन्होंने फौरन कंप्यूटर सिस्टम ऑन किया और उसे ई मेल भेजकर वारदात की जानकारी दी। ई मेल मिलते ही प्रतीक ने उन्नाव में एसपी के पद पर तैनात अपने फूफा रतन श्रीवास्तव को घटना से अवगत कराया और मदद मांगी। एसपी श्रीवास्तव ने इंस्पेक्टर मडि़यांव को फोन कर विनोद श्रीवास्तव के घर हुई घटना की जानकारी दी और उन्हें फौरन वहां पहुंचने को कहा।

मच गया हड़कंप

बंधक बनाकर लूट की वारदात की जानकारी मिलने पर हड़कंप मच गया। जिसके बाद सीओ अलीगंज अखिलेश नारायण सिंह व एसओ मडि़यांव रघुवीर सिंह फोर्स के साथ मौके पर पहुंचे। पुलिस ने बदमाशों का सुराग लगाने के लिये डॉग स्क्वायड को मौके पर बुलाया लेकिन, उनका कोई सुराग नहीं लग सका। विनोद ने पुलिस को बताया कि कि वह रोज रात सोने से पहले पूरे मकान के ताले अच्छी तरह से चेक करते हैं। बीती रात भी उन्होंने ताले चेक किये थे। वहीं, पुलिस ने जब जांच की तो विनोद के पोर्शन के बगल में स्थित कमरे का दरवाजा भीतर से खुला हुआ था। जांच में पता चला उस कमरे में डाक विभाग में काम करने वाला निशांत किराये पर रहता है। बीती रात वह अपने किसी दोस्त के यहां चला गया था। उन्होंने बताया कि मकान के पिछले हिस्से के दरवाजे के ताले की दो चाभियां हैं, जो उनके व निशांत के पास है। विनोद ने पुलिस को दी तहरीर मे करीब डेढ़ लाख के गहने व एक एलसीडी तथा एक मोबाइल चोरी होने की बात कही है।