- मोबाइल एप से ट्रैक होंगी केडीए की फाइलें, इम्पलाई दबाए बैठे हैं सैकड़ों जरूरी फाइलें

-मोबाइल बेस्ड ट्रैकिंग सिस्टम से तुरंत पता चल जाएगा सेक्शन और इम्प्लाई का नाम

KANPUR: केडीए के इम्प्लाई अब फाइल गायब करके एलॉटीज को परेशान नहीं कर पाएंगे। आने वाले समय में केडीए ऑफिसर्स बैठे-बैठे ही ट्रैक कर लेंगे कि फाइल किस डिपार्टमेंट के कौन से इम्प्लाई के पास है? इसके लिए मोबाइल बेस्ड फाइल ट्रैकिंग सिस्टम डेवलप कराने की तैयारी शुरू कर दी गई है। इसके लिए बेसिक जरूरतों को पूरा करने का काम भी शुरू कर दिया गया है।

खत्म होगा 'खेल'

अभी तक केडीए में फाइलों के मूवमेंट का प्रॉपर सिस्टम नहीं है। इसका फायदा उठाकर केडीए इम्प्लाई फाइलें गायब कर देते हैं। सैकड़ों की संख्या में फाइलें गायब हैं। नॉर्मली फाइलों की एंट्री मूवमेंट रजिस्टर में दर्ज होती है। एलॉटीज के रजिस्ट्री, म्यूटेशन आदि न होने की शिकायत करने पर ऑफिसर फाइल मंगाते हैं। कभी इम्प्लाई फाइल दूसरे सेक्शन में होने तो कभी संबंधित सेक्शन का इम्प्लाई न होने, कभी रिकार्ड में होने की बात कहकर टरका देते हैं। जिससे ऑफिसर्स को फाइलें नहीं मिल पाती हैं और वे एलॉटीज को एक-दो दिन बाद बुलाने के लिए मजबूर हो जाते हैं।

हर प्रॉपर्टी का यूनिक अाईडी नंबर

इन सब समस्याओं की वजह से केडीए ऑफिसर्स मोबाइल बेस्ड ट्रैकिंग सिस्टम अपनाने की तैयारी कर रहे हैं। पहले से ही केडीए पुरानी फाइलों का डिजिटाइजेशन करा रहा है। अब तक 1.5 लाख से अधिक प्रॉपर्टी की फाइलें स्कैन हो चुकी हैं। इसके साथ ही हर प्रॉपर्टी की यूनिक आईडी नम्बरिंग का काम भी शुरू हो चुका है। इसी यूनिक आईडी नम्बर पर ही मोबाइल फाइल ट्रैकिंग सिस्टम बेस होगा और इसी यूनिक आईडी नम्बर के जरिए फाइल का मूवमेंट होगा। फाइल किस डिपार्टमेंट में भेजी गई, उसे किसने रिसीव किया, इसे संबंधित इम्प्लाई को अपडेट करते रहना पड़ेगा। जिससे ऑफिसर्स के यूनिक आईडी नम्बर एंटी करते ही उन्हें पता चल जाएगा कि फाइलें किस सेक्शन में और किस इम्प्लाई के पास हैं?