- रायपुर के 37 गांवों को नगर निगम में शामिल किए जाने के प्रस्ताव के विरोध में आए बीजेपी विधायक

- स्थानीय जनप्रतिनिधियों के साथ मिलकर करेंगे विरोध

DEHRADUN: रायपुर इलाके के फ्7 गांवों को नगर निगम में शामिल करने के विरोध में अब रायपुर के विधायक उमेश शर्मा काऊ ने मोर्चा खोल दिया है। इस कवायद को लेकर वे अपनी ही सरकार के विरोध में खड़े नजर आ रहे हैं। स्थानीय जनप्रतिनिधियों ने भी इस फैसले का विरोध किया है।

पहले क्7 गांव हो चुके शामिल

रायपुर विधानसभा के फ्7 गांवों को नगर निगम में शामिल किए जाने को लेकर रायपुर के विधायक उमेश शर्मा काऊ के साथ-साथ रायपुर के जनप्रतिनिधियों ने नगर निगम के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है। जनप्रतिनिधियों का कहना है कि ख्00फ् में रायपुर के क्7 गांवों को शामिल किया गया था, लेकिन आज इन गांवो की स्थिति ग्राम पंचायत के अन्य गांवो से भी बुरी है। विधायक के नेतृत्व में क्म् मई को रायपुर के लोगों ने इसका जमकर विरोध करनें का फैसला लिया है। ऐसे में इस मामले को अब राजनीति से भी जोड़ा जाने लगा है। मालूम हो कि नगर निगम में बीजेपी काबिज है। मेयर विनोद चमोली बीजेपी से धर्मपुर विधानसभा से चुनाव भी जीत कर आए हैं। इधर रायपुर के विधायक उमेश शर्मा काऊ वर्तमान में बीजेपी के टिकट पर चुनाव जीतकर आए हैं। ऐसे में सरकार के इस फैसले का बीजेपी के अंदर ही विरोध शुरू हो गया है। हालांकि रायपुर विधायक काऊ ने साफ कहा कि अगर सरकार का कोई फैसला जनता के हित में नहीं होगा, तो वो उसका विरोध करेंगे। साथ ही उन्होंने ये भी कहा कि ग्राम प्रधानों के विरोध के बाद ही उन्होंने नगर निगम में धरना-प्रदर्शन करने का निर्णय लिया है।

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नगर निगम को पहले क्7 गांवों के विकास की कार्ययोजना बनानी चाहिए। इन गांवों को संसाधन उपलब्ध कराने चाहिए। सिर्फ टैक्स वसूलने और राजस्व बढ़ाने के लिए गांवों को निगम में शामिल करना ठीक नहीं, ग्राम प्रधानों द्वारा फ्7 और गांवों को निगम में शामिल करने के विरोध को मैंने समर्थन दिया है।

उमेश शर्मा काऊ, विधायक रायपुर

नगर निगम के इलाकों से ज्यादा विकसित हमारी ग्राम पंचायतें हैं। जिन गांवों को पहले नगर निगम में शामिल किया गया था, उनकी स्थिति और बदतर हुई है। इस मामले में हम राजनीति से ऊपर उठकर विरोध कर रहे हैं। सवाल गावों को मिलने वाली सुविधा और विकास का है।

घनश्याम पाल, अध्यक्ष, ग्राम प्रधान संगठन

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टकराव जैसी कोई स्थिति नहीं है, हमने इन गांवों के विकास के लिए ठोस प्रस्ताव बनाया है। जो गांवों को निगम में शामिल करने का विरोध कर रहे हैं, उन्हें सरकार से इस संबंध में वार्ता करनी चाहिए और अपनी बात सरकार के समक्ष रखनी चाहिए।

विनोद चमोली, मेयर