-जमा चेक के नंबर वाले चेकों से पहले ही हो चुका था भुगतान

-मामले का खुलासा होने पर बिल्डर ने दर्ज कराई एफआईआर

LUCKNOW: विभूतिखंड एरिया में बन रहे अपार्टमेंट में फ्लैट हासिल करने के लिये तीन जालसाजों ने फर्जी चेक जमा कर बुकिंग करा ली। जब बिल्डर ने पेमेंट हासिल करने के लिये चेक को बैंक में प्रस्तुत किया तो फर्जीवाड़े का खुलासा हुआ। जिसके बाद बिल्डर ने एसएसपी से शिकायत की। एसएसपी के आदेश पर विभूतिखंड पुलिस ने एफआईआर दर्ज कर इंक्वायरी शुरू कर दी है।

चेक देकर करा ली बुकिंग

एसओ विभूतिखंड देवेंद्र दुबे के मुताबिक, अलीगंज निवासी अमित श्रीवास्तव स्प्रिंग डेवलपर्स के पार्टनर हैं। इन दिनों उनकी कंपनी विभूतिखंड के अनौरा में ग्रीन रेजिडेंशियल अपार्टमेंट का निर्माण करा रही है। अमित के मुताबिक, बीते सितंबर महीने में दीपक असरानी, कोमल असरानी और लक्ष्मी नारायण उपाध्याय ने उनके अपार्टमेंट में फ्लैट बुकिंग के लिये उनसे संपर्क किया। रेट तय हो जाने पर दीपक ने आईडीबीआई बैंक, खुनखुनजी रोड ब्रांच का ख्0 हजार रुपये का चेक, कोमल ने पंजाब नेशनल बैंक, कपूरथला ब्रांच का ख्, ब्8,8क्क् रुपये का चेक और लक्ष्मी नारायण उपाध्याय ने यूनियन बैंक ऑफ इंडिया, लंका वाराणसी का फ्,फ्ब्, फ्क्क् रुपये का चेक देकर फ्लैट बुक करा लिया।

चेक बाउंस हुए तो पता चला

अमित ने बताया कि इन चेकों की रकम को कंपनी के अकाउंट में ट्रांसफर कराने के लिये उन्होंने कंपनी के कर्मचारी मुरली मनोहर के जरिए तीनों चेक गोमतीनगर स्थित यूनियन बैंक ऑफ इंडिया के अपने अकाउंट में डिपॉजिट करा दिये। पर, क्लीयरिंग हाउस पहुंचने पर तीनों चेक बाउंस हो गई। चेक बाउंस होने की जानकारी मिलने पर अमित ने जब बैंक जाकर पड़ताल की तो जो जानकारी मिली उसे सुनकर वह हैरान रह गए। दरअसल, यह तीनों चेक फर्जी थे और इन तीनों चेकों के असली नंबर वाले चेक से किसी अशोक कुमार के अकाउंट में पहले ही रकम ट्रांसफर हो चुकी थी। आखिरकार अमित ने एसएसपी से मिलकर पूरे मामले की जानकारी दी और आशंका जताई कि दीपक, कोमल, लक्ष्मीनारायण व अशोक के अलावा संबंधित बैंक के कर्मचारियों की भी इस फर्जीवाड़े में मिलीभगत है। एसएसपी के आदेश पर पुलिस ने एफआईआर दर्ज कर इंक्वायरी शुरू कर दी है।