-रेलवे की पहली मॉडल ट्रेन को एक्स्ट्रा रैक का इंतजार

-अत्याधुनिक ट्रेन के लिए रैक मिलते ही वीक में चलेगी सभी दिन, पैसेंजर्स की मुश्किल होगी कम

-पीएम नरेंद्र मोदी ने दिखाया था हरी झंडी

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वाराणसी कैंट स्टेशन से नई दिल्ली के बीच दौड़ रही खास तरह की ट्रेन महामना सुपरफास्ट अब वीकली नहीं रहेगी। यह ट्रेन पूरे वीक चलेगी। जिसके बाद कैंट से नई दिल्ली जाने व आने वालों की परेशानी कम हो जाएगी। नई ट्रेन महामना एक्सप्रेस को पीएम व बनारस के सांसद नरेंद्र मोदी ने हरी झंडी दिखाकर रवाना किया था। हालांकि एक रैक होने की वजह से यह पूरे हफ्ते नहीं चल पा रही है। अब जब इसके लिए खास तरह का रैक तैयार हो गया है तो इसे पूरे हफ्ते दौड़ना पर गंभीरता से मंथन चल रहा है। सात दिन चलने से शिवगंगा सुपरफास्ट के कैंट से मंडुआडीह शिफ्ट होने की कमी दूर हो जाएगी।

तीन नहीं अब सात दिन

रेलवे की ओर से जारी शेड्यूल के तहत महामना एक्सप्रेस वीक में तीन दिन संचालित होती है। ट्रेन नंबर-22417 महामना सुपरफास्ट वाराणसी कैंट स्टेशन से शाम 6.55 बजे रवाना होकर अगले दिन सुबह 8.25 बजे नई दिल्ली स्टेशन पहुंचती है। इसी तरह नई दिल्ली से शाम 6.35 रवाना होकर अगले दिन सुबह 8.25 बजे कैंट स्टेशन पहुंच जाती है। ट्रेन वाराणसी से जौनपुर, सुल्तानपुर, लखनऊ, बरेली, मुरादाबाद, गाजियाबाद होते हुए नई दिल्ली पहुंचती है। इसमें टोटल 18 कोच जुड़े हैं, जिसमें एक फ‌र्स्ट एसी, एक सेकेंड एसी, नौ स्लीपर, चार जनरल, दो जनरल कम एसएलआर और एक पेंट्री कार है। हालांकि इसमें अभी 3एसी कोच नहीं जुड़ पाया है। बनारस से यह ट्रेन मंगलवार, गुरुवार और शनिवार को रवाना होती है। जबकि नई दिल्ली से सोमवार, बुधवार और शुक्रवार को चलती है। जल्द ही यह वीक के सातों दिन संचालित होगी।

अनोखे तरह का है कोच

वाराणसी कैंट स्टेशन से नई दिल्ली के बीच चलने वाली महामना सुपरफास्ट में लगे कोचेज अपने आप में अनोखे हैं। इस तरह का कोच किसी भी ट्रेन में नहीं लगे हैं। यानि कि रेलवे में अपनी तरह की यह अलग ट्रेन है। भोपाल स्थित कोच पुर्ननिर्माण फैक्ट्री में निर्मित कोचेज की खूबियां इसे सामान्य से अलग करती हैं। जिसके चलते इसके स्लीपर कोचेज की बनावट अन्य ट्रेन के एसी कोचेज से बेहतर है। महामना एक्सप्रेस में एलईडी लाइट से लेकर जीपीएस तक का इंतजाम है। वहीं जर्नी के दौरान पैसेंजर को झटके भी नहीं लगेंगे। इसके लिए विशेष तरह के इक्वीपमेंट लगे हैं।

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इस ट्रेन में खास तरह के कोच लगे हैं। जिनको तैयार करने में समय लगता है। जैसे ही एक्स्ट्रा रैक मिल गया वैसे ही इसे सप्ताह में पूरे दिन चला दिया जाएगा।

आरके कुलश्रेष्ठ, जीएम

नॉर्दन रेलवे

इनके चलते ट्रेन है खास

-ऊपर की सीट पर चढ़ने के लिए लैडर सीढि़यां

-नीले और लाल रंग की जगह अब आकर्षक दिखने वाली परपल सीट

-पढ़ाई के लिए हर केबिन में एलईडी रीडिंग लाइट

-साइड की बर्थ के लिए भी स्नैक्स टेबल

-सभी कोचेज में बायो टॉयलेट, साथ में सोपकेस व डस्टबीन

-फ‌र्स्ट एसी में वॉश बेसिन, मिरर की भी सुविधा, साथ में पावर वेनीशियन बिलाइंड विंडो के पर्दे

-फर्श पर कारपेट जैसा दिखने वाला पेंट और उसी रंग की सीट

-मोबाइल और लैपटॉप की चार्जिग के लिए अलग मल्टी प्वाइंट

-कोच के दोनों छोर पर फायर इंस्टीग्यूशर

-हर सीट के सामने पानी की बोतल रखने का खास स्टैंड

-मिडिल बर्थ पर रेलिंग की सुविधा

-हर क्लास के कोच में मॉड्यूलर ग्रीन टॉयलेट

-जीपीएस के थ्रू आने वाले चार स्टेशन का इंफॉर्मेशन

-हर कोच में स्पीकर के थ्रू पैसेंजर्स को इंफॉर्मेशन देने की व्यवस्था

-कोचेज में लगे है म्यूजिक सिस्टम

-रात में सीट तक आसानी से पहुंचने के लिए बर्थ इंडीकेटर्स

-टॉयलेट अक्यूपाइड सिस्टम

-पूरे कोच में जगह-जगह सीनरी