एक्सक्लूसिव

>-साइबर क्राइम में यूपी टॉप कानपुर में मोबाइल बैकिंग फ्रॉड के मामले भी तेजी से बढ़े

-मामलों को टैकल करने के लिए पुलिस के पास जरूरी इंफ्रास्ट्रक्चर व ट्रेनिंग का अभाव

- बैंक भी किसी प्रकार की जिम्मेदारी लेने का तैयार नहीं, खाताधारक आखिर जांए तो कहां

KANPUR: साइबर क्राइम के मामलों में यूपी में टॉप रहने वाले कानपुर में अब मोबाइल बैंकिंग के जरिए होने वाले फ्रॉड नया सिरदर्द बन कर उभरे हैं। एक महीने में ही मोबाइल बैंकिंग यूज करने वाले लोगों के खाते से लाखों रुपए निकालने के एक के बाद एक कई मामले सामने आए। जिसमें पुलिस ने रिपोर्ट दर्ज कर जांच तो शुरू की लेकिन हासिल कुछ नहीं हुआ। इस मामले में जिन खाताधारकों के रुपए गए उनके बैंकों ने भी कोई जिम्मेदारी लेने से मना कर दिया। ऐसे में बड़ा सवाल यह खड़ा हो रहा है कि पीडि़त खाताधारक आखिर क्या करे। क्योंकि न ही उनका पैसा वापस मिलता है और न ही किसी की जिम्मेदारी तय होती है।

इनसे कैसे निपटेगी पुलिस?

दरअसल एनसीआरबी के आंकड़े बताते हैं कि साइबर फ्रॉड के मामले में कानपुर पहले ही बदनाम है। क्योंकि साइबर ठगी में यह दिल्ली मुंबई जैसे शहरों से भी आगे हैं। ऐसे में अब मोबाइल बैकिंग में सिमकार्ड से छेड़छाड़ करके रुपए निकालने के मामलों में पुलिस की परेशानी बढ़ गई हैं। क्योंकि ऐसे केसेस को टैकल करने के लिए जरूरी इंफ्रास्ट्रक्चर और ट्रेनिंग का अभाव है। एैसे मामलों में महारत रखने वाले अफसर भी अब शहर में तैनात नहीं हैं। आईटी एक्ट के मामलों में पुलिस की जांच में कन्वेक्शन रेट भी बेहद खराब है। पीडि़त का गया हुआ पैसा ज्यादातर मामलों में पुलिस रिकवर नहीं कर सकी है।

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पिन नंबर पूछकर उड़ाए 10 हजार

यन्हृक्कक्त्र : कल्याणपुर में रविवार को अर्चना सिंह के एकाउन्ट से दस हजार रुपए पार हो गए। वो विनायकपुर निवासी आकाश सिंह की बहन है। उनके मोबाइल पर सुबह अन्जान कॉल आई। उन्होंने कॉल रिसीव की तो एक युवक ने खुद को बैंक कर्मी बताते हुए कहा कि आपका एटीएम बन्द हो गया है। इसे दोबारा चालू करने के लिए आधार कार्ड नम्बर देना होगा। अर्चना ने उस पर विश्वास कर नम्बर दे दिया। इसके बाद उसने एटीएम का नम्बर और पिन जानकर एकाउन्ट से दस हजार की ऑन लाइन शॉपिंग कर ली। मोबाइल पर मैसेज आने पर उनको रुपए निकलने का पता चला। उन्होंने थाने में श्ि1ाकायत दर्ज कराई है।

फ्रॉड के ये तरीके पड़े पुराने-

1- एटीएम कार्ड की क्लोि1नंग करके पैसा उड़ाना

2- एटीएम मशीन में लॉस्ट ट्रांजक्शन करने वाले शख्स के खासे से छेड़छाड़

3- ईमेल भेज कर लुभावनी स्कीम का लालच देना और एटीएम कार्ड और पिन मांग कर पैसे निकालना

4- फोन करके एटीएम कार्ड रिन्यूअल के नाम पर पिन मांग कर पैसो निकालना

5- ऑनलाइन बैकिंग का पासवर्ड हैक कर पैसा निकालना

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ये सावधानियां बरतें-

- अगर आपका खाता आपके फोन से लिंक्ड है तो अपने फोन में लॉक लगा कर रखे

- जिस स्मार्ट फोन से मोबाइल बैकिंग करते हैं उसका सिम बंद होता है तो सर्विस प्रोवाइडर और बैंक के कॉलसेंटर पर इसकी जानकारी दे।

- ई वॉलेट से खाता लिंक्ड है तो मोबाइल में एप लॉक जरूर रखे और उसका पासवर्ड भी बदलते रहे।

- फोन पर एकाउंट नंबर और पिन या सीवीवी नंबर पूछने वालों से सावधान रहे

-आनलाइन शापिंग करते हैं तो इंटरनेट बैकिंग के समय रिमेंबर ऑप्शन पर क्लिक न करे।

- ईमेल के जरिए भेजे जाने वाले लुभावने ऑफर्स के प्रयोग से बचे

- नेट बैकिंग यूज करते हैं तो पासवर्ड एक निश्चित अंतराल पर बदले और नंबर्स व अल्फाबेट वाले पासवर्ड बनाए

- नेट या मोबाइल बैंकिंग यूज करते हैं फिर भी जिस बैंक शाखा में अकांउट हैं वहां पासबुक इंट्री या मेन्युअल ट्रांजक्शन भी करते रहें

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इन घटनाओं से उठे सवाल-

- गोविंद नगर में पीएनबी बैंक के खाताधारक के खाते से 7.25 लाख निकाले

-बिठूर में नेटवर्क कंपनी स्टोर में मिलीभगत कर खाते से रूपए निकाले

-घाटमपुर में किसान के खाते से 7.5 लाख रूपए निकाले

-गोविंद नगर में ज्वैलर्स के खाते से 3 लाख रूपए निकाले