आज से रिटेंडर प्रक्रिया होनी थी शुरू

शासन से नहीं मिला नियुक्ति पत्र लेकिन एएमए शिशुपाल शर्मा रिलीव

Meerut। जनपद में जिला पंचायत विभाग द्वारा कराए जाने वाले 17.50 करोड़ रूपये के विकास कार्यो पर मौजूदा वित्तीय वर्ष में पूर्ण विराम लग गया है। 21 फरवरी से इसके लिए री-टेंडर प्रक्रिया शुरू होनी थी, लेकिन अचानक शासन ने एएमए शिशुपाल शर्मा का तबादला कर दिया है। उन्हें मंगलवार को रिलीव भी कर दिया गया।

रुक गई प्रक्रिया

शासन की ओर से अभी किसी को बतौर एएमए मेरठ नहीं भेजा गया है ऐसी स्थिति में री-टेंडर की प्रक्रिया फिलहाल कुछ दिनों के लिए रुक जाएगी। गौरतलब है कि जिला पंचायत ने हाल ही में 17.50 करोड़ रूपये के प्रस्ताव के लिए टेंडर निकाला था, जिसे कमिश्नर डॉ। प्रभात कुमार ने भ्रष्टाचार के आरोप के बाद निरस्त कर दिया था। इसी मामले को लेकर 29 जनवरी को जिला पंचायत अध्यक्ष कुलविंदर सिंह और एएमए शिशुपाल शर्मा के बीच नोक-झोंक हुई थी। इसके बाद जिला पंचायत अध्यक्ष ने एएमए के तबादले के लिए लखनऊ डेरा डाल लिया तो वहीं एएमए ने भी बिगड़े माहौल के बाद काम करने में सरकार को असमर्थता जता दी थी। इसके बाद से एएमए मेडिकल लीव पर चले गए थे।

एएमए हुए रिलीव

जिला पंचायत अध्यक्ष और एएमए के बीच चल रही खींचतान के बीच दोनों ने एक-दूसरे के साथ काम न करने की इच्छा जताई थी। शासन ने इस पर विचार करते हुए एएमए का स्थानांतरण मुरादाबाद कर दिया है। मंगलवार को उन्हें रिलीव कर दिया गया।

कम नहीं हुई दूरियां

गत दिनों कुलविंदर के पिता मुखिया गुर्जर ने दोनों के बीच समझौता भी करा दिया था। बावजूद इसके दोनों के बीच दूरियां और बढती चली गई। समझौते के दूसरे दिन जिला पंचायत अध्यक्ष लखनऊ चले गए। जिला पंचायत अध्यक्ष लौटकर आए तो एएमए लखनऊ चले गए। दोनों के वापस आते ही स्थानांतरण का आदेश आ गया। हालांकि दोनों यह स्वीकार नहीं करते वह स्थानांतरण के लिए लखनऊ गए थे।

री-टेंडर का जल्द समाधान निकाल लिया जाएगा। शासन से मेरठ में जल्द नए एएमए की तैनाती का अनुरोध किया गया है।

कुलविंदर सिंह, जिला पंचायत अधिकारी

फिलहाल शासन के निर्देश का अनुपालन करा दिया गया है। टेंडर आदि की प्रक्रिया नए एएमए के ज्वाइनिंग के बाद ही शुरू होगी।

आर्यका अखौरी, सीडीओ, मेरठ