-बिजली खपत में आया है करीब 7 एमयू का उछाल

-करीब 38 मिलियन यूनिट तक पहुंची विद्युत डिमांड

-यूपीसीएल के लिए भी चिंता का सबब बना डिमांड

DEHRADUN : उत्तराखंड में अचानक बढ़ रही बिजली की डिमांड विद्युत उपभोक्ताओं के लिए परेशानी का सबब बन सकती है। क्योंकि एक तरफ राज्य की जल विद्युत परियोजनाओं से लगातार उत्पादन घट रहा है। वहीं दूसरी ओर अगर उत्पादन बढ़ेगा तो फिर स्टेट में बिजली एक बार फिर प्रदेश के लोगों को झटके दे सकती है। विगत दिनों राज्य में अप्रतिबंधित विद्युत डिमांड फ्क् मिलियन यूनिट के करीब थी तो आजकल यही बिजली की डिमांड फ्8 एमयू के करीब पहुंच गई है। यही डिमांड अगर और अधिक बढ़ी तो फिर बिजली विभाग के साथ ही पब्लिक की भी टेंशन बढ़ सकती है।

ग्रामीण क्षेत्रों में होगी अधिक कटौती

हालांकि अभी तक बिजली विभाग बिजली की डिमांड पूरी करने का प्रयास कर रहा है, लेकिन अगर और अधिक मांग बढ़ी तो फिर स्टेट के ग्रामीण क्षेत्रों में बिजली कटौती का संकट गहरा सकता है। इन दिनों जब फ्7 एमयू के करीब स्टेट में बिजली की डिमांड है तो सभी स्त्रोतों से बिजली की उपलब्धता करीब फ्भ् एमयू के करीब मिल पा रही है। करीब ख् मिलियन यूनिट बिजली के लिए पब्लिक को शटडाउन झेलना पड़ रहा है। इसके लिए हरिद्वार और ऊधमसिंह नगर के ग्रामीण क्षेत्रों में फ् घंटे, गढ़वाल व कुमाऊं मंडल के छोटे शहरों में करीब क्.फ्0 घंटे, नॉन इंडस्ट्रीज एरिया में ख् घंटे की बिजली कटौती का संकट झेलना पड़ रहा है।

उत्पादन पहुंचा म्.भ्0 एमयू के करीब

राज्य की जल विद्युत परियोजनाओं से वर्तमान में महज म्.भ्0 एमयू के करीब ही हर दिन उत्पादन मिल पा रहा है। जबकि राज्य में वर्तमान में करीब एक दर्जन से अधिक जल विद्युत परियोजनाएं हैं। सर्दियों में पहाड़ की ऊंची चोटियों में बर्फ जम जाने के कारण नदियों में पानी घट गया है जिस कारण परियोजनाओं में क्षमतानुसार उत्पादन नहीं मिल पा रहा है।

राजधानी में भी हो सकती है प्रॉब्लम

हालांकि राजधानी दून को अभी तक बिजली कटौती से दूर रखा गया है, लेकिन अगर डिमांड बढ़ती है तो फिर यहां भी बिजली कटौती शुरू हो सकती है। महज एक से दो घंटे के मामूली से फॉल्ट पर बिजली गुल हो जाने पर राजधानी वासियों की मुश्किलें बढ़ जाती हैं, लेकिन अगर अधिक कटौती हुई तो फिर बिजली यहां भी टेंशन दे सकती है।

इस तरह बढ़ी डिमांड

-ख्म् जनवरी को फ्क्.9म् एमयू

-ख्7 जनवरी को फ्ब्.फ्ब् एमयू

-ख्8 जनवरी को फ्7.77 एमयू

-ख्9 जनवरी को 77.7भ् एमयू

उत्तराखंड जल विद्युत निगम की परियोजनाओं से बिजली उत्पादन घट रहा है। इन दिनों बिजली की डिमांड बढ़ रही है। अगर अधिक डिमांड बढ़ेगी तो फिर यूपीसीएल को अतिरिक्त बिजली बाहर से खरीदनी पड़ सकती है।

-मधुसूदन इशर, प्रवक्ता, यूपीसीएल