दैनिक जागरण आई नेक्स्ट एक्सक्लूसिव

- एनआईए की पूछताछ में खुलासा, चकेरी क्षेत्र की कई दुकानों से खरीदा बम बनाने का सामान

- खुरासान मॉड्यूल ने कानपुर को बनाया हेडक्वार्टर, यहीं से हुई धमाकों की फंडिंग और हथियारों की खरीद फरोख्त

KANPUR: 7 सितंबर को मध्यप्रदेश में भोपाल-उज्जैन पैसेंजर में धमाके के लिए जिस पाइप बम का इस्तेमाल हुआ उसे कानपुर में बनाया गया था। इसके लिए आतंकियों ने जाजमऊ और आसपास के एरिया की दुकानों से बम बनाने का सामान खरीदा फिर उसे असेंबल किया। इस बात का खुलासा संदिग्ध आतंकियों से पूछताछ के दौरान हुआ था। जिसके बाद एनआईए की टीम थर्सडे को धमाकों के आरोपी संदिग्ध आतंकियों को रिमांड में लेकरकानपुर पहुंची। इस दौरान उसकी पड़ताल का अहम बिंदु यह भी था। उसने कई इलेक्ट्रानिक की दुकानों में भी जांच पड़ताल की ।

कानपुर से हुई धमाकों की फंडिंग

भोपाल-उज्जैन पैसेंजर ट्रेन के जनरल कोच में 7 मार्च को धमाका हुआ। लोकल पुलिस और मध्य प्रदेश एटीएस की जांच में बोगी में पाइप बम से धमाके की पुष्टि हुई। वहीं लखनऊ और कानपुर में इस्लामिक इस्टेट के खुरासान मॉडयूल के सरगना और मेंबर्स के पकड़े जाने के बाद केंद्र सरकार ने जांच नेशनल इनवेस्टिगेटिव एजेंसी को सौंप दी। पकड़े गए मध्य प्रदेश से पकड़े गए संदिग्ध आतंकी और बम ब्लास्ट के आरोपी दानिश, आतिफ और हजमा से पूछताछ शुरू हुई तो कई चौकाने वाले खुलासे भी हुए। इस बात की पुष्टि होते ही कि खुरासान माड्यूल का हेडक्वार्टर कानपुर- लखनऊ में था जांच एजेंसियों के कान और खड़े हो गए। पूछताछ में खुलासा हुआ कि बम धमाके के लिए लोग जुटाने और उसकी फंडिंग के लिए पैसा सैफुल्लाह ने जुटाया था। जिसके बाद जांच एजेंसियों का कानपुर पर ही केंद्रित हो गई हैं।

कानपुर में बनाया गया बम

एनआईए की पूछताछ के दौरान कई चौंकाने वाले खुलासे हुए हैं। सूत्रों की माने तो जिस बम का इस्तेमाल भोपाल- उज्जैन पैसेंजर में हुआ। उसे असेंबल किया गया था। बम बनाने का अलग अलग सामान जाजमऊ और उसके आसपास के इलाकों से ही खरीदा गया था। बम को मोबाइल फोन से ट्रिगर किया गया। जिसे सूत्रों के मुताबिक रहमानी मार्केट से खरीदा गया। वहीं टाइमर व अन्य दूसरी चीजें जाजमऊ में ही इन माडयूल मेंबर्स को मुहैया हुई। एनआईए की टीम ने थर्सडे को कई इलेक्ट्रानिक दुकानों में भी पूछताछ की जिससे यह बात और पुख्ता हो गई।