-कथित पत्रकार को अभी नहीं मिली क्लीन चिट

-सरेंडर करने की फिराक में है कातिल दरोगा

KANPUR : ईशा का खौफनाक कत्ल करने वाला दरोगा ज्ञानेंद्र अकेला शहर की पुलिस पर भारी पड़ रहा है। पुलिस लोकेशन मिलने के बाद भी उसको गिरफ्तार नहीं कर पा रही है। वो पुलिस की दबिश से पहले ही ठिकाना बदल देता है। हालांकि बुधवार को एसएसपी ने 48 घंटे के अन्दर उसकी गिरफ्तारी का दावा किया है। वही, पुलिस के हत्थे चढ़े हत्यारोपी अंकुर और उसकी पत्नी अवंतिका को जेल रास नहीं आ रहा है। वे रात भर बैरक में करवट बदलते रहे।

दरोगा के बयान पर होगा कथित पत्रकार का फैसला

पुलिस ईशा हत्याकांड में कथित पत्रकार ऋषभ को उठाया है। ईशा के कत्ल में प्रयुक्त कार को ऋषभ ने धोया था। कार में खून के धब्बे लगे होने के बाद भी उसने पुलिस को जानकारी नहीं दी। हालांकि वो खुद को बेकसूर बता रहा है। ऋषभ के पास ईशा के कुछ जेवर भी बरामद होने की जानकारी सामने आ रही है। एसएसपी शलभ माथुर का कहना है कि अभी कथित पत्रकार को क्लीन चिट नहीं दी गई है। दरोगा ज्ञानेंद्र और उसकी साथी मनीष की गिरफ्तारी के बाद ही ऋषभ के रोल का पता चलेगा। इसलिए वो अभी भी शक के घेरे में है।

सरेंडर करने की फिराक में है दरोगा और उसका साथी

दरोगा ज्ञानेंद्र बेहद शातिर है। वो सरेंडर करने की फिराक में है, लेकिन वो सरेंडर करने से पहले अपनी पैरवी करने के लिए वकील करना चाहता था। इसके लिए वो सीनियर वकीलों से संपर्क कर रहा है। सोर्सेज के मुताबिक वो पैरवी के लिए वकील को तय करते ही कोर्ट में सरेंडर कर देगा। वो सेम डे सुनवाई के लिए हाईकोर्ट में अर्जी दाखिल करने की तैयारी कर रही है। सोर्सेज की माने तो वो दो से तीन दिन में सरेंडर कर सकता है।

12 हजार ईनाम घोषित किया गया

दरोगा ज्ञानेंद्र और उसके साथी मनीष पर एसएसपी ने पांच-पांच हजार रुपए ईनाम घोषित किया था। जिसे एसएसपी ने बढ़ाकर 12 हजार कर दिया है। एसएसपी शलभ माथुर ने बताया कि ज्ञानेंद्र का पासपोर्ट को निरस्त करने की कार्रवाई की जा रही है, ताकि वो देश के बाहर न जा सकें। एसएसपी ने पालिटिकल प्रेशर से इन्कार किया है।