- जहां होगी तैनाती वहां नहीं करेंगे गाडि़यों की चेकिंग

- सांठ-गांठ के चलते छूट जाती है तमाम अवैध गाडि़यां

- दूसरे के क्षेत्र में नहीं हो सकेगी सांठ-गांठ

LUCKNOW: आखिर परिवहन विभाग ने इस बात को स्वीकार कर ही लिया है कि आरटीओ की अपने क्षेत्र में रहने वाले गाड़ी मालिकों के साथ सांठ-गांठ हो जाती है। ऐसे में उनकी तो जेब मोटी होती है लेकिन राजस्व में लगातार गिरावट हो रही है। गाडि़यों को अवैध संचालन बढ़ रहा है। इसी के चलते अब परिवहन निगम आरटीओ के कार्यक्षेत्र में बदलाव करेगा। उसे कभी भी कहीं भी एक हफ्ते की डयूटी के लिए भेजा जाएगा।

ट्रांसपोर्ट कमिश्नर कार्यालय के अधिकारियों ने बताया कि एक प्रपोजल बनाकर ट्रांसपोर्ट कमिश्नर के पास भेजा गया है। प्रपोजल यह है कि आरटीओ अपने क्षेत्र के बजाए किसी अन्य आरटीओ के क्षेत्र में डयूटी करे। इसके लिए उसे एक हफ्ते तक वहां पर तैनात किया जाए। इसका कारण यह है कि आरटीओ और उसके यहां मौजदू प्रवर्तन दल की तैनाती जहां पर होती है, उस क्षेत्र के तमाम गाडि़यों की मालिकों से उसकी जान-पहचान हो जाती है। दोनों एक-दूसरे का विशेष ध्यान भी रखते हैं। ऐसे ओवरलोडिंग और अवैध गाडि़यों के खिलाफ जो मुहिम चलती है वह शिथिल पड़ जाती है। यह अभियान सिर्फ नाम मात्र का रह जाता है। ऐसे में आरटीओ का कार्यक्षेत्र बदल दिया जाए। प्रपोजल में यह भी स्पष्ट है कि जिनकी डयूटी तय की जाय वह ओवरलोडिंग के खिलाफ चार दिन और अवैध गाडि़यों के संचालन की चेकिंग दो दिन करेंगे। सिर्फ एक हफ्ते में ड्यूटी क्षेत्र बदलने से अन्य क्षेत्र में उनकी गाडि़यों की मालिक से जान-पहचान नहीं होगी। वह मौके पर ही एक्शन लेंगे। इससे जहां ओवरलोडिंग रुकेगी वहीं अवैध गाडि़यों का संचालन भी बंद होगा। साथ ही राजस्व भी बढ़ेगा।

इस प्रपोजल पर विचार चल रहा है। बैठक में विभागीय अधिकारियों की राय जानने के बाद ही इसे फाइनल किया जाएगा।

के रविन्द्र नायक

ट्रांसपोर्ट कमिश्नल