-बोर्ड एग्जाम की सुचिता के लिए डीआईओएस ने शुरू की तैयारी

-सब्जेक्ट के टीचर्स नहीं बने इंविजिलेटर्स इसके लिए बनाई खास योजना

BAREILLY: यूपी बोर्ड एग्जाम नकलविहीन कराने और इंविजिलेटर्स की ड्यूटी लगाने में केन्द्र व्यवस्थापकों का खेल रोकने के लिए डीआईओएस ने खास प्लानिंग की है। इस बार केन्द्र व्यवस्थापक को इंविजिलेटर्स के आई कार्ड पर उसकी पूरी शैक्षिक योग्यता लिखनी होगी। ऐसे में यदि केन्द्र व्यवस्थापकों ने सब्जेक्ट टीचर्स को इंविजिलेटर बनाया तो फ्लाइंग स्क्वॉयड आसानी से इस खेल को पकड़ लेगा। बोर्ड एग्जाम में इंविजिलेटर्स विजिबल होंगे।

नकल पर लगेगी रोक

दूसरे चरण का मतदान खत्म होते ही माध्यमिक शिक्षा विभाग के अधिकारी यूपी बोर्ड के एग्जाम को शांतिपूर्ण और सुचितापूर्वक कराने की तैयारियों में जुट गए हैं। केन्द्र व्यवस्थापक इंविजिलेटर्स की तैनाती में खेल न कर सकें। इसके लिए डीआईओएस ने खास तैयारी की है। उन्होंने सभी केन्द्र व्यवस्थापकों का निर्देश दिया है कि इंविजिलेटर्स को जो आईकार्ड जारी किए जाएं, उस पर पूरी शैक्षिक योग्यता लिखी जाए। क्योंकि अक्सर केन्द्र व्यवस्थापक आईकार्ड पर आधी-अधूरी शैक्षिक योग्यता लिखते हैं। जिस कारण फ्लाइंग स्क्वॉयड को पता नहीं चल पता कि इंविजिलेटर सब्जेक्ट टीचर है या नहीं। उन्होंने बताया इस कदम से सब्जेक्ट टीचर को इंविजिलेटर बनाने पर रोक लगेगी। साथ ही नकलविहीन परीक्षा कराने में मदद मिलेगी।

लास्ट ईयर पकड़े गए थे इंविजिलेटर्स

लास्ट ईयर बोर्ड एग्जाम में नकलमाफियाओं ने नकल कराने के लिए खेल किया था। उन्होंने सब्जेक्ट टीचर्स को इंविजिलेटर बना दिया था। तत्कालीन डीआईओएस गजेन्द्र कुमार ने एग्जाम की गोपनीयता को परखने के लिए सरदार पटेल कॉलेज का निरीक्षण किया। इसमें केन्द्र व्यवस्थापक ने इंटर के होम साइंस के पेपर में सब्जेक्ट टीचर को इंविजिलेटर बना दिया था। वहीं, अजय ग‌र्ल्स इंटर कॉलेज में इंटर के शिक्षा शास्त्र के पेपर में सब्जेक्ट टीचर की ड्यूटी लगा दी थी।

133 सेंटर्स पर होगा एग्जाम

माध्यमिक शिक्षा विभाग ने 133 कॉलेजेज को एग्जाम सेंटर्स बनाए हैं। जिन पर 98 हजार के करीब स्टूडेंट्स एग्जाम देंगे। एग्जाम 16 मार्च से स्टार्ट होकर 21 अप्रैल तक चलेंगे। हाईस्कूल और इंटरमीडिएट के एग्जाम दो पालियों में होंगे।

अक्सर देखा जाता है कि केन्द्र व्यवस्थापक इंविजिलेटर्स की तैनाती में खेल करते हैं। आई कार्ड पर आधी-अधूरी जानकारी लिखते हैं। केन्द्र व्यवस्थापकों को निर्देश दिए गए हैं कि वे इंविजिलेटर्स के आईकार्ड पर पूरी जानकारी लिखें। ताकि, फ्लाइंग स्क्वॉयड को आसानी से जानकारी हो सके।

मुन्ने अली, डीआईओएस