- शासन के निर्देश पर नगर आयुक्त ने गठित की टीम

- प्रमुख सचिव का आदेश के बाद जीएमसी ने शुरू किया काम

GORAKHPUR: प्रदेश में बिजली के लिए मची हाहाकार के बाद शासन ने बिजली बचाने के लिए कवायद शुरू कर दी है। कुछ दिन पहले प्रमुख सचिव ने नगर निकायाें को पत्र जारी करके बिजली बचाने और बिजली बिल के भौतिक सत्यापन का आदेश जारी किया है। आदेश में प्रमुख सचिव ने लिखा है कि दिन में जल रही स्ट्रीट लाइट्स से डेली कम से कम एक घंटे की बिजली बरबाद हो रही है, वहीं इन स्ट्रीट लाइट्स प्वाइंट से बिजली बिल भी मनमाने रूप से लिया जा रहा। जिससे नगर निगम को राजस्व की हानि उठानी पड़ रही है, इसको रोकने के लिए बिल आने पर भौतिक सत्यापन जरूरी है।

दिन में जलते हैं क्भ् हजार स्ट्रीट लाइट्स

पथ प्रकाश के आंकड़ों की मानें तो सिटी में ब्ख् हजार स्ट्रीट लाइट्स प्वाइंट लगे हुए हैं, जिनमें से लगभग क्भ् हजार स्ट्रीट लाइट्स दिन में भी जलते हैं। बिजली विभाग के एक जेई का कहना है कि अगर यह दिन में बंद रहते तो गोरखपुराइट्स को एक घंटे तक एक्स्ट्रा बिजली मिलती। यही नहीं इससे यह खराब भी कम होते।

जीएमसी की टीम करेगी सर्वे

प्रमुख सचिव के पत्र मिलने के बाद नगर आयुक्त ने स्ट्रीट लाइट्स प्वाइंट का सर्वे करने वाली टीम लगा दी है। यह टीम दिन में स्ट्रीट लाइट्स प्वाइंट किस कारण से जल रहे हैं और इनके जलने से कितनी बिजली की खपत हो रही है, इसकी रिपोर्ट तैयार करेगी। सर्वे टीम क्भ् अगस्त तक अपनी रिपोर्ट नगर आयुक्त को सौंपेगी। नगर आयुक्त का कहना है कि इस सर्वे में बिजली विभाग से भी मदद ली जा रही है।

बिजली विभाग की गलती से जल रहे हैं स्ट्रीट लाइट्स

नगर आयुक्त का कहना है कि जीएमसी पर लोग दोष लगाते हैं कि स्ट्रीट प्वाइंट जलते हैं, जबकि हकीकत यह है कि अधिकांश स्ट्रीट लाइट्स बिजली विभाग की लापरवाही से जलते हैं। जीएमसी सिटी में भ्म् किमी लंबा दो फेस वाला तार बिछाया है जिस पर स्ट्रीट लाइट्स जलाया जाता है। इन तारों पर बिजली विभाग ने कनेक्शन दे दिया है, जिससे इन तारों से जितने भी स्ट्रीट लाइट्स प्वाइंट जुड़े हैं वह पूरे दिन जलते रहते हैं। इसको लेकर कई बार पत्र लिखा गया है कि इन तारों से बिजली विभाग कनेक्शन अलग कर ले, लेकिन वह कनेक्शन अलग नहीं करते।

ऐसा नहीं हुआ होगा। सिटी के अफसरों को पत्र लिखकर जीएमसी के बिछाए गए तारों पर कनेक्शन की जांच करा लेता हूं। अगर कनेक्शन दिया गया होगा तो उसके लिए अलग से लाइन बिछाई जाएगी।

एसपी पांडेय, चीफ इंजीनियर, गोरखपुर जोन, पूर्वाचल विद्युत वितरण निगम

बिजली विभाग के मुख्य अभियंता को बिल के भौतिक सत्यापन के लिए पत्र लिखा गया है। स्ट्रीट लाइट्स के तारों पर जहां भी कनेक्शन दिया गया है, उनको अलग करने के लिए पत्र लिखा गया है।

राजेश कुमार त्यागी, म्यूनिसिपल कमिश्नर जीएमसी