RANCHI: राजधानी में एक सितंबर से चल रहे मतदाता सूची पुनरीक्षण सर्वेक्षण के तहत करीब 6746 नाम गायब हो गए हैं। जिला प्रशासन के सर्वेक्षण के क्रम में इन लोगों का नाम-पता तलाशा नहीं जा सका, जिसके बाद इन नामों को वोटर लिस्ट से काट दिया गया है। सबसे अधिक नाम हटिया विधानसभा क्षेत्र से काटे गए हैं। यहां 1995 लोगों ने नाम हटाने के लिए आवेदन दिया था, जबकि अन्य कई नामों में त्रुटियां पाई गई हैं। इसके बाद खिजरी विधानसभा के 1245 व सिल्ली विधानसभा के 996 लोगों समेत पूरी राजधानी से करीब 7000 नामों को वोटर लिस्ट से हटाया गया है।

31 तक फाइनल लिस्ट

चुनाव आयोग और जिला प्रशासन के अधिकारियों का कहना है कि 31 अक्टूबर तक वोटर लिस्ट में आवश्यक सुधार कर सूची जारी कर दी जाएगी। इसके बाद नामों की एंट्री बंद कर दी जाएगी। उल्लेखनीय है कि कई चुनाव क्षेत्रों में वोटर लिस्ट की गड़बड़ी के कारण वोटिंग प्रतिशत काफी कम हुआ था। पार्षद चुनाव के दौरान भी वोटर लिस्ट में गड़बड़ी की बात सामने आई है।

दो हजार के करीब सुधार कार्य

सर्वेक्षण के क्रम में करीब 2182 मतदाताओं के नाम, पता व फोटो में सुधार किया गया है। इस गड़बड़ी के कारण इन लोगो को पिछले चुनाव में वोट देने में काफी परेशानी आई थी। साथ ही कई लोग वोट देने से वंचित रह गए थे।

12719 नए वोटर्स जोड़े

मतदाता सूची पुनरीक्षण सर्वेक्षण के तहत अब तक 12719 नए मतदाताओं के नाम जोड़े गए हैं। इनमें ऑफ लाइन 10936 और ऑनलाइन 1783 आवेदन प्राप्त हुए थे। हटिया विधानसभा क्षेत्र से जहां सबसे अधिक लोगों के नाम काटे गए हैं वहीं सबसे अधिक नए नाम भी जोड़े गए। सात विधानसभा क्षेत्रों में से सबसे अधिक 3099 नए मतदाता हटिया विधानसभा में जोड़े गए। इसके बाद मांडर विधानसभा में 2036 और कांके में 1939 मतदाता जोड़े गए।

सामाजिक-धार्मिक संगठनों ने गड़बड़ी का लगाया आरोप

जिला प्रशासन द्वारा चल रहे वोटर लिस्ट पुनरीक्षण सर्वेक्षण में गड़बड़ी किए जाने का आरोप लगाते हुए सामाजिक-धार्मिक संगठनों ने डीसी राय महिमापत रे से मुलाकात की। धार्मिक-सामाजिक संगठनों सहित सामाजिक कार्यकर्ताओं का एक प्रतिनिधिमंडल मरकज़ी मजलिस ए उलेमा झारखंड के महासचिव मौलाना डॉ ओबैदुल्लाह कासमी एवं झारखंड आंदोलनकारी एआईपीएफ के बशीर अहमद के नेतृत्व में 15 सदस्यीय प्रतिनिधिमंडल स्मार पत्र के साथ रांची डीसी से मिला.संगठन के प्रतिनिधियों ने आरोप लगाया है कि वोटर लिस्ट में अधिकतर नाम जानबूझकर काटे जा रहे हैं। साथ ही बीएलओ डोर टू डोर विजिट नहीं कर रहे जो अनिवार्य है। बीएलओ की भूमिका पर सवाल उठाते हुए उन्हें लापरवाह बताया जा रहा है और कार्रवाई की मांग की गई है। संगठनों ने मांग की है कि वोटर के पूरे परिवार का नाम घर के नज़दीक के ही बूथ सेंटर पर रखा जाए। साथ ही वोटर लिस्ट विशेष अभियान को 15 नवंबर तक बढ़ाने की मांग की गई।

डोर टू डोर विजिट करें बीएलओ

डीसी राय महिमापत रे ने कहा है कि हर क्षेत्र के बीएलओ डोर टू डोर विजिट करें। कोई भी बीएलओ लापरवाही, गैर जिम्मेदार भूमिका निभाने वाले पर कार्रवाई होगी। लिस्ट में छुटे नामों को जल्द बीएलओ से संपर्क करना चाहिए या सदर एसडीओ को सूचना दें। इसके साथ-साथ उस जगह से सूचना मिलने पर विशेष कैम्प भी लगाया जाए।

वर्जन

वोटर लिस्ट में सुधार का कार्य चल रहा है और जिन लोगों के भी आवेदन प्रशासन को मिले थे, उनपर कार्रवाई की जा रही है। चुनाव आयोग और जिला प्रशासन के अधिकारी लगातार इसपर कार्य कर रहे हैं और जल्द ही नई वोटर लिस्ट जारी कर दी जाएगी।

राय महिमापत रे, डीसी, रांची