मैनेजर को कोई मतलब नहीं

सिक्योरिटी वाले गेट से गायब रहते हैं। मैनेजर को कोई मतलब नहीं रहता है। अंदर बाहर लोगों का आना-जाना बना रहता है। सिक्योरिटी को पांच-दस रुपए देकर इमरजेंसी से लेकर तमाम वार्ड में धड़ल्ले आ-जा सकते हैं। लापरवाही की हद शनिवार की सुबह गाईनी वार्ड में देखने को मिली। सुबह दस बजे एक महिला आईसीयू के बेड नंबर छह से बच्चे को उठाकर निकल गयी। किसी ने भी नहीं पूछा कि वह दो दिन के नवजात को कहां ले जा रही है।

क्लोज सर्किट कैमरे में कैद

आईसीयू से बच्चा लेकर चोर दूसरे वार्ड से होते हुए बाहर निकल जाती है। इस चोरी की रिकॉर्डिंग क्लोज सर्किट कैमरे में कैद है। इसमें दिखा कि किस तरह 45 सेकेंड के भीतर एक महिला दो दिन के नवजात को लेकर निकल जाती है। दो कैमरे में इसकी एक्टिविटी कैद हुई है। लेकिन दोनों कैमरे इस तरह से लगाए गए हैं कि तस्वीर ठीक से नहीं आ पायी है। बच्चे को लेकर जा रही महिला तो दिखती है लेकिन उसके चेहरे की पहचान मुश्किल है। मामला थाने तक पहुंचा है। पुलिस रिकॉर्डिंग की पड़ताल करने में जुटी है।

मेरा बेटा सोया था वो उठाकर ले गयी

कलावती ने बताया कि मेरा बेटा सोया था तभी एक महिला आयी और बच्चे को उठाकर निकल गयी। जब पूछा तो बतायी कि बाहर ले जा रहे हैं। कलावती ने बताया कि मुझे लगा कि शायद डॉक्टर साहब ने कहा होगा। लेकिन वह लौटकर नहीं आयी तो हमलोग घबरा गए। खोजबीन की गयी तो उसका कोई पता नहीं चल पाया। वहीं पीएमसीएच के सुपरिटेंडेंट डॉ। अमरकांत झा अमर ने बताया कि इसकी जांच चल रही है। क्लोज सर्किट कैमरे को खंगाला जा रहा है। इस लापरवाही को बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। जानकारी हो कि 21 साल की कलावती देवी गुरुवार की शाम सात बजकर पंद्रह मिनट पर एडमिट हुई थी और ऑपरेशन से बच्चे को जन्म दी थी।

घटना की टाइमिंग

10.00 मिनट पर आईसीयू के आसपास सन्नाटा

10.04 आईसीयू के सामने एक महिला जाती है पीछे एक जूनियर डॉक्टर

10.04:45 सेकेंड एक महिला बच्चे को लेकर निकल जाती है

10.05:20 सेकेंड पर महिला बच्चे को विभिन्न वार्ड से लेकर गाईनी वार्ड से बाहर निकल जाती है

क्या है नियम

- एडमिशन के समय इमरजेंसी या फिर वार्ड में दो पास मिलते हैं

- पास दिखाकर ही आप पेशेंट से मिलने अंदर जा सकते हैं

- इमरजेंसी के पीछे वाले गेट से अटेंडेंट की एंट्री होती है

- मिलने का टाइम फिक्स होता है उसी टाइम मिल सकते हैं

ऐसे टूटता है नियम

- इमरजेंसी के मेन गेट से ही लोगों का आना-जाना होता है

- पांच-दस रुपए देने पर कोई भी कहीं भी आ-जा सकता है

- किसी भी तरह की चेकिंग गेट पर नहीं होती है

- एंट्री पास दो का लेकिन अंदर 24 घंटे बीसों लोग जमे रहते हैं