RANCHI: राजधानी रांची के खेलगांव होते हुए टाटीसिल्वे की ओर जाने वाली सड़क हादसों की कब्रगाह बनती जा रही है। इस रोड पर हर पांचवें दिन औसतन एक हादसा होता है। हादसों के शिकार कभी राहगीर बनते हैं तो कभी आवारा पशु। आंकड़ों के मुताबिक, एक वर्ष में इस रोड पर 70 से ज्यादा दुर्घटनाएं हो चुकी हैं। हालांकि पथ निर्माण विभाग की ओर से गाडि़यों की रफ्तार को कंट्रोल करने के लिए कई जगह रंबल स्ट्रीप लगाए गए हैं, लेकिन घुमावदार सड़क होने की वजह से हादसों की आशंका बनी रहती है।

क्या है हादसों की वजह

नामकोम, आरागेट, टाटीसिल्वे और खेलगांव जैसे क्षेत्रों में ज्यादा दुर्घटनाएं हो रही हैं। दरअसल इन रास्तों पर घुमावदार सड़कें होने की वजह से ज्यादा हादसे होते हैं। खेलगांव टाटीसिल्वे सड़क पर तेज रफ्तार भी एक ऐसा कारण है, जिससे हादसे होते हैं। मवेशियों के सड़क पर आने की वजह से भी दुर्घटनाएं होती हैं। गाडि़यों की रफ्तार से परेशान कुछ युवकों ने गांधीगीरी कर कुछ गाडि़यों को धीमी रफ्तार से चलने की नसीहत दी थी, लेकिन इसका कुछ फायदा नहीं हुआ।

कई ब्लैक स्पॉट लेकिन इंतजाम नहीं

खेलगांव से टाटीसिल्वे की ओर जाने वाली सड़क पर करीब चार स्थान ऐसे हैं, जहां दुर्घटनाओं की आशंका बनी रहती है। ये स्पॉट विभाग के आंकडों में ब्लैक स्पॉट के रूप में दर्ज नहीं हैं। इसीलिए विभाग की नजर भी इस तरफ अब तक नहीं गई है। खेलगांव के चंदन का कहना है कि अगर विभाग की ओर से टर्निग प्वाइंट पर अलर्ट साइनएजेज और रंबल स्ट्रीप लगा दिए जाएं तो हादसे कम होंगे, लेकिन ऐसा अब तक नहीं किया गया है।