- 33 नाला सफाई की फर्मों को पालिका प्रशासन ने थमाई नोटिस

- नाला सफाई में की जा रही हीलाहवाली के बाद की गई कार्रवाई

FATEHPUR: नाला सफाई के काम में हीलाहवाली करने वाले ठेकेदारों पर पालिका प्रशासन ने शिकंजा कस दिया है। उन्हें नोटिस देकर चेताया है कि संबंधित क्षेत्र में बरसात के दौरान पानी भरा तो जिम्मेदारी से बच नहीं पाएंगे। सफाई के भुगतान का हो पाना संभव नहीं हो पाएगा। साथ ही सफाई निरीक्षक और प्रभारी को भी इसके लिए जिम्मेदार ठहराया जाएगा।

.ताकि टापू न बन जाए शहर

बरसात के दिनों में शहर टापू न बने इसके लिए नालों की सफाई कराई जाती है। नाला सफाई के नाम पर ठेकेदारों में 50 लाख रुपए खर्च किए जाते हैं। इतने ही रुपए पालिका प्रशासन नाली-नाला की सफाई में खुद खर्च करता है। बीते सालों की भांति इस साल सफाई कमतर आंकी जा रही है। जलभराव वाले मुहल्लों में सफाई तक नहीं की गई है। 15 जून तक नाला सफाई के शासनादेश को ठेकेदारों ने रद्दी की टोकरी में डाल दिया गया है। तमाम प्रयासों के बाद पालिका प्रशासन तली झाड़ सफाई नहीं करवा पाया है। अब पालिका प्रशासन ने काम लेने वाले ठेकेदारों पर नया शिकंजा कसा है। 33 नालों की सफाई का ठेका लेने वाले ठेकेदारों को नोटिस थमाई है। नोटिस के जरिए यह कहा गया है कि नाला सफाई के चलते अगर जलभराव की दिक्कत हुई तो ठेकेदारों को दोषी माना जाएगा। बरसात से पहले नालों की सफाई करा ली जाए। जलभराव की स्थिति आने पर ठेकेदारों को भुगतान नहीं किया जाएगा।

नहीं किया जाएगा भुगतान

अधिशाषी अधिकारी रश्मि भारती कहती हैं कि ठेकेदारों को बार बार चेतावनी पत्र दिए गए हैं। फिर से नोटिस देकर चेताया गया है कि काम में खामी नहीं रहनी चाहिए। जलभराव होने पर ठेकेदारों का भुगतान भी नहीं किया जाएगा। साथ ही सफाई निरीक्षक और प्रभारी, इंजीनियर सिविल को पत्र देकर यह कहा गया है कि वह काम को भली भांति निपटाएं। जलभराव होने पर कार्यवाही से बच नहीं पाएंगे।