-प्रिंसिपल प्रोग्रेसिव एसोसिएशन ने सरकार को दिया प्रस्ताव

-पहाड़ों में स्कूलों को गोद लेने के लिए निजी स्कूल हैं तैयार

-लीज पर जमीन मुहैया कराएं तो 2ाोल सकते हैं स्कूल

DEHRADUN: प्रदेश में शिक्षा के हालात सुधारने और दूरस्थ पहाड़ी क्षेत्रों में शिक्षा मुहैया कराने के साथ ही बदहाल स्कूलों के हालात सुधारने के लिए प्रदेश के निजी स्कूलों की एसोसिएशन आगे आई है। निजी स्कूलों के प्रिंसिपल प्रोग्रेसिव एसोसिएशन ने सरकार से पहाड़ों में स्कूल खोलने के लिए प्रस्ताव के अलावा बदहाल स्कूलों को गोद लेने का भी प्रस्ताव रखा है। डीजी एजुकेशन आलोक शेखर तिवारी ने बताया कि निजी स्कूलों ने पहाड़ों के स्कूलों को गोद लेने की बात की है, जिस पर शिक्षा विभाग जल्द ही प्लान पर काम करेगी। इसके अलावा प्रिंसिपल प्रोग्रेसिव एसोसिएशन ने पहाड़ों में स्कूल खोलने को लेकर भी एक बार फिर प्रस्ताव पर विचार करने की बात की है।

पलायन रोकने को पहल

प्रदेश में पलायन का सबसे बड़ा कारण मूलभूत सुविधाओं की कमी है। जिसमें शिक्षा सबसे महत्वपूर्ण है। प्रदेश के पहाड़ी क्षेत्रों में आज भी कई जगह पर स्कूल नहीं है। जहां स्कूल हैं वहां शिक्षा व्यवस्था बदहाल है। अगर स्कूल खोले गए हैं तो फिर शिक्षक उपलब्ध नहीं है। इसके अलावा कई स्कूलों में फर्नीचर, पानी, बिजली आदि कई मूलभूत सुविधाओं की कमी भी है। ऐसे में पहाड़ से आए दिन पलायन हो रहा है। शिक्षा व्यवस्था में सुधार से पलायन पर रोक लगेगी, ऐसे में यह कवायद कारगर मानी जा रही है।

पहाड़ों में स्कूल खोलने को तैयार

प्रदेश में प्रिंसिपल प्रोगेसिव एसोसिएशन ने सरकार को पहाड़ों के स्कूलों को गोद लेने का प्रस्ताव दिया है। इसके साथ ही नामचीन स्कूलों ने पहाड़ों में स्कूल खोलने के लिए एक बार फिर प्रस्ताव दिया है, जिसमें सरकार से लीज पर जमीन उपलब्ध कराने की बात की है। प्रिंसीपल प्रोगेसिव एसोसिएशन के प्रदेश अध्यक्ष प्रेम कश्यप ने बताया कि पहाड़ों में स्कूल खोलने के लिए निजी स्कूल तैयार हैं, जिसके लिए सरकार को उन्हें सहयोग करना होगा। अगर सरकार निजी स्कूलों को जमीन मुहैया करा दें तो वे पहाड़ों में स्कूल खोलने को तैयार हैं।

सरकार से मांगी जमीन

पीपीए ने पहाड़ी जिलों में अपने स्कूलों की ब्रांच खोलने के लिए सरकार से जमीन की मांग की है। एसोसिएशन का कहना है कि अगर सरकार मानक के मुताबिक उन्हें जमीन उपलब्ध करा दे तो वे स्कूल खोलने को तैयार हैं, इसके साथ ही बिजली, पानी और सड़क की सुविधा भी एसोसिएशन नें मांग की है ताकि स्कूलों में स्टूडेंट्स को कोई दिक्कत न हो और पठन-पाठन बेहतर तरीके से हो सके।

किस स्कूल के लिए कितनी जमीन

- 2 बीघा जमीन 5वीं तक के लिए।

- 3 बीघा जमीन 8वीं तक के लिए।

- 1.5 एकड़ जमीन 12 वीं तक के लिए।

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अगर सरकार हमें जमीन लीज पर प्रोवाइड करा दे तो हमारे साथ जुडे़ स्कूल पहाड़ों में स्कूल खोलने को लेकर तैयार हैं। हमने दोबारा सीएम से इस बाबत प्रस्ताव रखा है। पहाड़ों से पलायन रोकने के लिए यह फैसला बड़ा कारगर साबित हो सकता है।

प्रेम कश्यप, अध्यक्ष, प्रिंसिपल प्रोग्रेसिव एसोसिएशन

- प्रिंसिपल प्रोग्रेसिव एसोसिएशन ने पहाड़ में स्थित स्कूलों को एक-एक नामचीन स्कूल द्वारा गोद लेने का प्रस्ताव दिया है। इस पर विभाग जल्द ही योजना तैयार करेगा। देखा जा रहा है कि इस योजना को कैसे क्रियान्वित किया जा सकता है।

आलोक शेखर तिवारी, डीजी एजुकेशन