इंग्लिश विकेट की तरह

भारतीय टीम पहले बल्लेबाजी करते हुए 18.5 ओवर में 101 रन बनाकर ऑलआउट हो गई। जवाब में श्रीलंका ने 12 गेंद शेष रहते लक्ष्य हासिल कर लिया। मैच के बाद कप्तान धोनी ने विकेट को दोषी ठहराते हुए कहा- वे पिछले एक महीने में जैसा विकेट देखते आए हैं, यह उससे बिलकुल अलग था। यहां इंग्लैंड के जैसा विकेट था। यह इंग्लिश विकेट की तरह ज्यादा था। उछाल वाली और अलग तरह की पिच थी। विकेट को सही तरह से रोल नहीं किया गया। इसमें स्पोंजी बाउंस और गति में मिश्रण था। इस संबंध में टीम के कप्तान महेंद्र सिंह धोनी के मुताबिक बल्लेबाजों का शॉट चयन स्पोंजी बाउंस विकेट पर खेलने वाला नहीं था। उनका कहना है कि उन्होंने कुछ बड़े शॉट लगाए।

खेल आंकने का मौका

शायद वैसे नहीं लगाए जैसे स्पोंजी विकेट पर लगाने होते है। इस विकेट पर 135-140 का स्कोर अच्छा होता क्योंकि तेज गेंदबाजों को कुछ मदद मिल रही थी। यहां की परिस्थितियां भारत जैसी नहीं बल्कि इंग्लैंड जैसी थी। उनके शॉट चयन और अच्छे होने चाहिए थे। भारतीय सीमित ओवरों के कप्तान इस बात से खुश हैं कि पहले मैच में सभी खिलाडि़यों को अपना खेल आंकने का मौका मिला। उनका कहना है कि वह सकारात्मक पहलू पर ध्यान दे रहे हैं, हर किसी को मौका मिला और हम आगे अच्छा प्रदर्शन करेंगे। इस दौरान भारतीय टीम के कई खिलाड़ियों ने उनकी हां में हां मिलाई।

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