- बाइक से पत्नी संग भरतपुर लौट रहा था सिपाही, अटूस के पास कार ने मारी टक्कर

- गणेश प्रतिमाओं के साथ उमड़े हुजूम से लगा जाम, देरी से हॉस्पिटल पहुंची एंबुलेंस

आगरा। गणेश विसर्जन के उल्लास ने गुरुवार को एक सिपाही की सांसें छीन लीं। अटूस पुल, सिकंदरा पर भीषण हादसे में घायल सिपाही को तत्काल उपचार की जरूरत थी, लेकिन सड़कों पर गणेश प्रतिमा के साथ निकले भक्तों के हुजूम ने वाहनों की रफ्तार थाम ली। जाम के चलते घायल दंपत्ति को लेकर एम्बुलेंस भी 20 मिनट का सफर एक घंटे में तय कर सकी। एसएन पहुंचने से पहले ही सिपाही ने दम तोड़ दिया, जबकि पत्नी की हालत भी चिंताजनक बनी हुई है।

बहनोई के यहां पर आए थे

गांव नूरपुर चिकसाना, भरतपुर निवासी महेश राजस्थान पुलिस में सिपाही थे। पत्नी विमला के साथ बाइक पर पनवारी निवासी बहनोई उदयवीर के यहां पर आए थे। गुरुवार को यहां से लौट रहे थे। दोपहर 1.40 बजे अटूस पुल सिकंदरा पर दूसरी दिशा से आ रही कार ने बाइक में टक्कर मार दी। बाइक सवार दंपत्ति गिर पड़े। कार भी सड़क पर पलट गई।

फौजी ने पहुंचाया अस्पताल

मौके पर पूर्व फौजी संतराम सिंह का फौजी होटल है। संतराम के मुताबिक उस दौरान वह अपने बच्चों से बात कर रहा था, तभी टायर घिसने की आवाज सुनाई दी। तुरंत बाद एक धमाके की आवाज आई। फौजी ने तुरंत दौड़ लगा दी। उसने देखा कि एक युवक झाडि़यों में घायल अवस्था में पड़ा है। गड्ढे में कार भी पलटी हुई पड़ी थी, जिसमें से दो-तीन युवक निकल कर भाग गए। एक युवती फंसी रह गई। पब्लिक ने उसे पकड़ लिया।

हर ओर मिला जाम

गणेश विसर्जन करने भक्तों की भीड़ सड़कों पर उमड़ी हुई थी। सिटी में चारों तरफ जाम के हालात थे। एम्बुलेंस जहां से निकलती, वहीं पर जाम मिलता। एम्बुलेंस चालक बंटी ने बताया कि वह बिचपुरी रोड से उन्हें ला रहा था, लेकिन वहां पर भी जाम मिला। एम्बुलेंस निकलने में दिक्कत हो रही थी। सिपाही की हालत सीरियस थी। जाम में ही उसकी सांसें थम गई।

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एक घंटे में पहुंचे एसएन

फौजी दोनों को घंटे भर में एसएन लेकर पहुंचे। यहां पर चिकित्सकों ने सिपाही को मृत घोषित कर दिया। पत्नी को गंभीर अवस्था में एसएन में उपचार हेतु एडमिट कर लिया। मोबाइल से सिपाही के परिजनों को सूचना दी। पुलिस ने शव को पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया।

नहीं मिला सौ नम्बर

फौजी ने बताया कि उसने 100 नंबर पर कॉल किया, लेकिन नहीं मिला। एम्बुलेंस को कॉल किया। रुनकता प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र की एम्बुलेंस जाम के चलते 20 मिनट में पहुंची। घायलों की सांसे चल रही थी। एम्बुलेंस कर्मियों ने दोनों को गाड़ी में रखा। एम्बुलेंस एसएन की तरफ दौड़ा दी।

पूर्व फौजी ने दिखाई तेजी

मौके पर पूर्व फौजी संतराम ने कई गाडि़यों को हाथ देकर रोकने का प्रयास किया। एक गाड़ी रुकी भी। उसने महिला को अंदर रखा, लेकिन पति के लिए स्थान नहीं बचा। इसके बाद भी संतराम दूसरी गाडि़यों को रोकने का प्रयास करते रहे। वह महिला को अस्पताल में एडमिट कराने के बाद तक एसएन में डटे रहे।