- मेडिकल कॉलेज में छात्र का शव को रखकर जमकर हुआ बवाल

- मौत की खबर मिलते ही फूटा गुस्सा, प्रशासन के खिलाफ जमकर नारेबाजी

-महानगर में तनाव बढ़ा, पूरे एरिया में बढ़ी चौकसी, शव को घर ले जाते समय भी जमकर हंगामा

- 13 लाख की आर्थिक सहायता और एक सदस्य को नौकरी का आश्वासन

<- मेडिकल कॉलेज में छात्र का शव को रखकर जमकर हुआ बवाल

- मौत की खबर मिलते ही फूटा गुस्सा, प्रशासन के खिलाफ जमकर नारेबाजी

-महानगर में तनाव बढ़ा, पूरे एरिया में बढ़ी चौकसी, शव को घर ले जाते समय भी जमकर हंगामा

- क्फ् लाख की आर्थिक सहायता और एक सदस्य को नौकरी का आश्वासन

MeerutMeerut: सांप्रदायिक हिंसा में घायल हुए छात्र शुभम रस्तोगी सोमवार की शाम जिंदगी की जंग हार गया। छात्र की मौत से लोग भड़क गए और मेडिकल में जमकर हंगामा हुआ। लोगों ने शव को इमरजेंसी के बाहर रखकर डीएम-एसएसपी को घेर कर जमकर नारेबाजी की। घंटों चले हंगामे के बाद आर्थिक सहायता और परिवार के सदस्य को नौकरी देने की घोषणा प्रशासन ने की। इसके अलावा हत्यारोपियों की गिरफ्तारी के आश्वासन के बाद शव को पोस्टमार्टम के लिए भेजा जा सका। उधर, शुभम की मौत के बाद पूरे शहर में तनाव को देखते हुए पुलिस चौकसी बढ़ा दी गई। साथ ही तनाव को देखते हुए तमाम सरकारी अमला सड़क पर आ गया। शहर के संवेदनशील एरिया में पुलिस गश्त जारी है।

बेगुनाह की गई जान

शनिवार को प्याऊ बनाने को लेकर दो समुदाय में खूनी टकरा हुआ था। इसमें बजाजा बाजार निवासी सर्राफा सुशील रस्तोगी के क्8 वर्षीय बेटे शुभम रस्तोगी को गोली लग गई थी। मेडिकल कॉलेज की इमरजेंसी में उपचार के दौरान तीसरे दिन सोमवार की शाम शुभम रस्तोगी ने दम तोड़ दिया। शुभम ने इस बार इंटर के पेपर दिए थे और वह रिजल्ट का इंतजार कर रहा था। शुभम हरिद्वार में पढ़ता था और दो दिन पहले ही घर आया था।

बुझ गया चिराग

बजाजा बाजार निवासी सर्राफा सुशील रस्तोगी के घर शुभम नौ बहनों के बाद जन्मा था। इकलौता भाई होने के कारण बहनों के साथ सारे परिवार का वह लाडला था। घटना के दिन घर के बाहर शोर मचने पर वह देखने के लिए निकला और फिर वासप घर नहीं लौट सका। दंगाइयों ने बेगुनाह छात्र को अपनी गोली का निशाना बनाया। शुभम की मौत से उसके परिजन बेहाल है। अस्पताल में परिजनों का विलाप देखकर लोगों की आंखे भर आई।

दिनभर मेडिकल में हुआ हंगामा

शुभम को लेकर दिनभर मेडिकल कालेज में हंगामे की स्थिति रही। सुबह 8 बजे अचानक छात्र की धड़कनें बंद हो गई। इससे परिजन और रिश्तेदार भड़क गए और हंगामा शुरू कर दिया। बाद में डॉक्टर्स से भी कई बार नोकझोक हुई। दोपहर के समय कई संगठनों के लोग मेडिकल पहुंचे और जोरदार हंगामा किया। शाम के समय भी कई बार जमा हुई भारी भीड़ ने हंगामा किया और पुलिस-प्रशासन पर आरोप लगाकर नारेबाजी की। उधर, भीड़ का गुस्सा देखकर अधिकारी भी दिनभर मेडिकल में जमे रहे और लोगों को समझाकर शांत करने की कोशिश होती रही।

छावनी बना मेडिकल कॉलेज

छात्र की बिगड़ती स्थिति और बढ़ती भीड़ को देखते हुए अधिकारियों ने मेडिकल कॉलेज का छावनी में तब्दील कर दिया। पुलिस, पीएसी के साथ आरएएफ को भी मेडिकल में तैनात कर दिया। हंगामे के दौरान भीड़ ने डीएम और एसएसपी को कई बार घेरा और जमकर नारेबाजी की। सुबह से लेकर कई बार लोगों का गुस्सा भड़का और स्थिति विस्फोटक बनी। लेकिन तैनात फोर्स ने स्थिति को नियंत्रण में बनाए रखा। उधर, भीड़ के आक्रोश और फोर्स की तैनाती से मेडिकल में भर्ती मरीज भी खौफ में रहे।

मौत से बढ़ा तनाव

छात्र की मौत की खबर से महानगर का माहौल अधिक तनावपूर्ण हो गया। तनाव को बढ़ता देख अधिकारियों ने बजाजा बाजार, गुदड़ी बाजार और तीरगरान में पुलिस ने विशेष सर्तकता बढ़ा दी है। साथ ही मृतक छात्र के घर के बाहर एक कंपनी आरएएफ लगाई गई। उधर, बढ़ते तनाव के असर से सड़कें भी खाली होती नजर आई। पुलिस ने दंगा एक्शन प्लान के तहत शहर भर में गश्त के साथ चौराहों पर भी बड़ी संख्या में पुलिस फोर्स को तैनात कर दिया।

मुआवजे की मांग पर अडे़

शुभम की मौत के बाद पुलिस ने उसके शव को पोस्टमार्टम के लिए भेजने की तैयारी शुरू की। लेकिन मौके पर जमा भीड़ ने हंगामा करते हुए शव को पीएम के लिए नहीं जाने दिया। लोगों ने चालीस लाख का मुआवजा और परिवार के दो सदस्यों को सरकारी नौकरी देने की मांग की। इससे करीब तीन घंटे तक हंगामा चला। बाद में डीएम ने क्फ् लाख का मुआवजा और एक सदस्य को नौकरी देने की घोषणा की गई। मुआवजे की घोषणा के बाद शव को पीएम के लिए भेजा जा सका।

जाम लगाने का किया प्रयास

पोस्टमार्टम के बाद शव को पुलिस के घेरे में घर के लिए रवाना किया गया। लेकिन रास्ते में बुढाना चौकी के पास भीड़ ने शव की गाड़ी को रोक लिया और हंगामा करते हुए जाम लगाने का प्रयास किया। भीड़ ने एसपी सिटी और प्रशासन के खिलाफ जोरदार नारेबाजी की। बाद में पुलिस ने किसी प्रकार शव को बजाजा बाजार तक पहुंचाया। वहां भी भीड़ भड़क गई और मौके पर पहुंचे कई नेताओं को भीड़ ने आगे नहीं जाने दिया।

मीडिया पर हमला, पथराव

बुढ़ाना गेट के पास अचानक भीड़ भड़क गई और कवरेज कर रही मीडिया पर हमला कर दिया। पत्रकारों से अभद्रता कर मारपीट की गई और फोटोग्राफर के कैमरे भी तोड दिया। मीडिया कर्मियों ने पुलिस चौकी में घुसकर जान बचाई तो भीड़ ने चौकी पर भी पथराव कर दिया। उधर, मौके पर तैनात पुलिस कर्मी तमाशा देखते रहे। इससे काफी देर तक मौके पर अफरातफरी का माहौल बना रहा।