GORAKHPUR: शासन की तमाम कवायद के बावजूद बीआरडी मेडिकल कालेज में ऑक्सीजन का संकट कम नहीं हो रहा है। बुधवार को भर्ती नवजात को डॉक्टरों ने ऑक्सीजन नहीं मुहैया कराया। रात भर पिता एम्बुबैग दबाता रहा। गुरुवार शाम को नवजात ने दम तोड़ दिया। शुक्रवार को पीडि़त पिता ने पूरे मामले की शिकायत तहसीलदार के जरिए प्रिंसिपल से की है। गोला के भड़सरा निवासी गगन मिश्रा की पत्‌नी किरन को 22 अगस्त को बेटा हुआ। अगले ही दिन उसकी तबियत बिगड़ने लगी। बच्चे को सांस लेने में तकलीफ हो रही थी। आनन-फानन में परिजनों ने नवजात को लेकर बीआरडी पहुंचे।

वार्ड में नहीं मिला ऑक्सीजन

नवजात को वार्ड 100 बेड के एनआईसीयू दो में भर्ती किया गया। डॉक्टरों ने तीमारदारों को बताया कि मासूम को ऑक्सीजन की दरकार है। वार्ड में ऑक्सीजन का कोई प्वाइंट खाली नहीं है। ऐसे में एम्बुबैग से ऑक्सीजन देना होगा। किसी नवजात के मरने या ठीक होने की सूरत में ही बेड पर ऑक्सीजन मिलेगा। पिता गगन ने बताया कि पूरी रात उसने एम्बुबैग दबाया। इससे उसकी हाथों की नसें सूज गई। गुरुवार को मासूम की हालत और बिगड़ गई। डॉक्टरों ने बच्चे को एनआईसीयू एक में शिफ्ट किया। जहां देर रात उसकी मौत हो गई।

पिता ने की शिकायत

बेटे की मौत के बाद परिजन आक्रोशित हो गए। शुक्रवार के तड़के उन्होंने अंतिम संस्कार की क्रिया पूरी की। इसके बाद वह सीधे तहसीलदार के पास पहुंच कर प्रिंसिपल को संबेधित शिकायती पत्र दिया। पिता ने आरोप लगाया कि बेटे को सही समय पर ऑक्सीजन मिल जाता तो उसकी जान बच सकती थी।