-डीडीयू हॉस्पिटल में 36 मरीजों में हुई डेंगू की पुष्टि, मलेरिया विभाग के पास आधे की जानकारी
-जिले में अब तक 350 डेंगू के संदिग्धों की हुई जांच, 46 कंफर्म
स्मार्ट सिटी बनारस में डेंगू मलेरिया ने रफ्तार पकड़ ली है. जिले में हर रोज डेंगू के मामले सामने आ रहे हैं. यहां डेंगू के अब तक 350 से ज्यादा संदिग्ध केस आ चुके है. जिसमें 46 मरीजों में पुष्टि भी कर दी गई है. इसमें 36 मरीज अकेले डीडीयू हॉस्पिटल से है. लेकिन हैरानी कि जिला मलेरिया विभाग के पास ये आंकड़े तक उपलब्ध नहीं है. विभाग ये मानने को तैयार नहंी कि डेंगू के इतने मामले आए है. वही पिछले दिनों डीडीयू हॉस्पिटल में डेंगू के एक साथ मामले आने से हड़कंप मच गया था. बावजूद इसके न तो हॉस्पिटल प्रबंध गंभीर है और न मलेरिया विभाग.
केस 36, रिपोर्ट सिर्फ 18 की
जिला मलेरिया विभाग के आंकड़ों पर गौर करे तो यहां अभी तक डेंगू के सिर्फ 23 केस पहुंचे है. जबकि इसके कंफर्म मरीजों की संख्या दुगनी हो चुकी है. इसमें डीडीयू हॉस्पिटल, एसएस हॉस्पिटल बीएचयू व प्राइवेट हॉस्पिटल के केस शामिल है. मलेरिया विभाग की माने तो डीडीयू हॉस्पिटल से उनके पास सिर्फ 18 केस की रिपोर्ट पहुंची. जबकि हॉस्पिटल प्रबंधन का कहना हैं कि ये सभी रिपोर्ट विभाग को भेज दी गई है.
हर रोज 4 से 5 मरीज की जांच
डीडीयू हॉस्पिटल में पिछले माह से लगातार डेंगू के मरीज आ रहे है. अब तक 360 से ज्यादा डेंगू के मरीजों का इलाज हो चुका है. आन एवरेज यहां हर रोज 4 से 5 डेंगू के मरीजों की जांच हो रही है. इसमें गंभीर मरीजों का डेंगू वार्ड में एडमिट भी किया गया है. चिकित्सकों का कहना हैं कि डेंगू के सबसे ज्यादा केस चौबेपुर, धरौरा, पांडेयपुर, पहडि़या, छोटा लालपुर भूलेटन, लहरतारा, बौलिया के अलावा जौनपुर आदि क्षेत्र से है.
कही छुपाई तो नहीं जा रही रिपोर्ट
मलेरिया विभाग के अधिकारियों का कहना हैं हॉस्पिटल की ओर से पूरी रिपोर्ट नहंी आ रही है. प्राप्त हो रहे दस्तावेजों में मरीजों का डिटेल नहीं होती. जिससे डेंगू के एग्जेक्ट फीगर को बताने में मुश्किल आ रही है.
कैसे और कब होता है डेंगू
डेंगू मादा एडीज इजिप्टी मच्छर के काटने से होता है, यह ज्यादातर दिन में काटता हैं. डेंगू जुलाई से अक्टूबर में सबसे ज्यादा फैलता है. एडीज इजिप्टी मच्छर यह 3 फीट से ज्यादा ऊंचाई तक नहीं उड़ पाता है.
कब दिखता है लक्षण
मच्छर काटे जाने के करीब 3-5 दिनों के बाद मरीज में डेंगू बुखार के लक्षण दिखने लगते हैं. शरीर में बीमारी पनपने की मियाद 3 से 10 दिनों की भी हो सकती है.
कैसे फैलता है डेंगू
डेंगू फीवर से पीडि़त व्यक्ति के खून में डेंगू वायरस बहुत अधीक मात्रा में होता है. जब कोई एडीज मच्छर डेंगू के मरीज को काटता है तो वह उसका खून चूसता है. खून के साथ डेंगू वायरस भी मच्छर के शरीर में चला जाता है. इसके बाद डेंगू वायरस वाला मच्छर किसी अन्य को काटता है तो वह वायरस उसमें भी पहुंच जाता है.
कितने तरह का होता है डेंगू
डेंगू फीवर 3 तरह का होता है, क्लासिकल (साधारण) फीवर, हैमरेजिक बुखार (डीएचएफ) व शॉक सिंड्रोम डेंगू (डीएसएस). इसमें दो व तीन डेंगू सबसे ज्यादा खतरनाक होता है. इस केस में फौरन इलाज शुरू नहीं किया गया तो जान पर आ सकती है.
कितने प्रकार का टेस्ट
अगर तेज बुखार, जॉइंट्स पेन या शरीर पर रैशेज दिखाई दे तो पहले दिन ही डेंगू का टेस्ट करा लेना चाहिए. डेंगू की जांच के लिए शुरुआत में एंटीजन ब्लड टेस्ट (एनएस 1) किया जाता है. इस टेस्ट में डेंगू शुरू में ज्यादा पॉजिटिव आता है, जबकि बाद में धीरे-धीरे पॉजिविटी कम होने लगती है.
डेंगू से कैसे बचें
-पानी जमा न होने दें, गढ्डों को मिट्टी से भर दें
-नालियों को साफ रखे
-अगर पानी जमा होने से रोकना मुमकिन नहीं तो उसमें पेट्रोल या केरोसिन ऑयल डालें.
-कूलर, गमलों का पानी हफ्ते में एक बार रोज पूरी तरह से खाली करें.
-घर में टूटे-फूटे डिब्बे, टायर, बर्तन, बोतलें आदि न रखें.
-डेंगू के मच्छर साफ पानी में पनपते हैं, इसलिए पानी की टंकी को बंद कर रखें.
एक नजर
46
डेंगू के कंफर्म कुल केस जिले में
36
डीडीयू हॉस्पिटल में कंफर्म
03
एसएस हॉस्पिटल बीएचयू
07
अन्य प्राइवेट हॉस्पिटल से
350
कुल संदिग्ध डेंगू के केस
325
डीडीयू हॉस्पिटल में
25
प्राइवेट हॉस्पिटल में
डेंगू के मामलों को लेकर विभाग गंभीर है, डीडीयू हॉस्पिटल से सिर्फ 18 कंफर्म केस की रिपोर्ट आई है. अगर वहां से पूरी रिपोर्ट नहीं भेजी गई तो यह सीएमओ के आदेश की अवहेलना है.
शरत पांडेय, जिला मलेरिया अधिकारी
अभी तक हॉस्पिटल में 36 डेंगू के मरीजों की पुष्टि की गई है. 2 पेशेंट एडमिट भी है. जिसकी रिपोर्ट मलेरिया विभाग को भेजी दी गई है.
डॉ. आरके यादव, एक्टिंग सीएमएस, डीडीयू हॉस्पिटल