RANCHI: रांची यूनिवर्सिटी के अंतर्गत संचालित सभी बीएड कॉलेजों में 20 हजार रुपए पर सेमेस्टर फीस कम कर दी गई है। बीएड के स्टूडेंट्स को अब प्रति सेमेस्टर 75 हजार रुपए के हिसाब से भुगतान करना होगा। पहले यह 95 हजार रुपए था। दो सेमेस्टर मिलाकर यह फीस एक लाख 90 हजार रुपए थी, जो घटकर डेढ़ लाख हो गई है। इस संबंध में बुधवार को रांची यूनिवर्सिटी में हुई फाइनांस कमिटी की बैठक में वीसी डॉ रमेश पांडेय ने स्वीकृति दे दी। इसका फायदा वैसे स्टूडेंट्स को भी मिलेगा, जिन्होंने पिछले साल एडमिशन लिया था और 95 हजार रुपए का भुगतान कर दिया है। उन्हें अगली फीस में पैसा एडजस्ट कर जमा करना होगा। बैठक में 5 जुलाई को आरयू में होने वाले दीक्षांत समारोह के लिए 30 लाख का बजट भी पास कर दिया गया। मौके पर वीसी डॉ रमेश पांडेय, रजिस्ट्रार डॉ एके चौधरी, डिप्टी रजिस्ट्रार प्रीतम कुमार, फाइनांस कमिटी के मेंबर एके चट्टोराज समेत अन्य लोग मौजूद थे।

निजी कॉलेजों के बराबर हुई फीस

रांची यूनिवर्सिटी में 20 हजार रुपए प्रति सेमेस्टर बीएड की फीस घटाने के बाद यह अब प्राइवेट बीएड कॉलेजों की फीस के बराबर हो गई है। प्राइवेट बीएड कॉलेजों में 75 हजार रुपए प्रति सेमेस्टर फीस है। फीस घटने के बाद अब रांची कॉलेज, वीमेंस कॉलेज और केओ कॉलेज से बीएड कर रहे स्टूडेंट्स को भी 75 हजार रुपए की दर से ही भुगतान करना होगा। जबकि कोल्हान यूनिवर्सिटी में 60 हजार रुपए प्रति सेमेस्टर की दर से फीस ली जाती है।

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लंबे समय से हो रही थी मांग

प्राइवेट और आरयू के कॉलेजों में फीस के अंतर को लेकर लंबे समय से छात्र संगठनों का आंदोलन चल रहा था। फीस कम करने को लेकर अभी हाल ही में एबीवीपी के प्रदर्शन के दौरान वीसी ने यह आश्वासन दिया था कि फीस कम कर दी जाएगी। फीस कम करने पर एबीवीपी के अटल पांडेय ने हर्ष व्यक्त किया है। अटल ने कहा कि यह छात्रों की जीत है।

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बीएड से करोड़ों की आमदनी थी

बीएड कोर्स से आरयू की सालाना कमाई 28 करोड़ रुपए से भी ज्यादा थी। रांची कॉलेज, वीमेंस कॉलेज और केओ कॉलेज गुमला में बीएड की पढ़ाई होती है। एक बीएड कॉलेज में 100 सीटें हैं। एक स्टूडेंट को फीस के तौर पर 95 हजार रुपए का पेमेंट करना होता था। एक बीएड कॉलेज में सात टीचर हैं। वीसी डॉ रमेश पांडेय के अनुसार एक बीएड टीचर को यूजीसी वेतनमान के तौर पर 40 हजार रुपए का पेमेंट होता है। बीएड कोर्स सेल्फ फाइनांस है। फीस के तौर पर मिले पैसों से टीचर और अन्य खर्चो के लिए भुगतान होता है।