JAMSHEDPUR: संताल गांवता की ओर से शुक्रवार को सिदगोड़ा जाहेरगाड़ में हर्षोल्लास के साथ बाहा बोंगा मनाया गया। बाहा परब यानि प्राकृतिक फूलों का त्योहार। इस त्योहार में जाहेर आयो, लिटा गोडेत, मोड़े क और तुरूय क (आराध्य देव व देवी) की पूजा अर्चना सारजोम बाहा और मातकम गेले (साल का फूल और महुआ का फूल) से संताल विधि विधान से किया गया। सुबह समाज के लोग नायके बाबा के आंगन में एकत्रित हुए और पारंपरिक वाद्ययंत्रों की धुन पर नाचते गाते उन्हें जाहेरथान तक पहुंचाए।

जाहेरथान में नायके बाबा ने पूजा अर्चना कर लोगों की सुख-समृद्धि, रोग मुक्त समाज, पशु पक्षियों की आबादी में बढ़ने, मौसम के समयानुसार आगमन, किसानों के उपज में वृद्धि, आपसी भाईचारा आदि की कामना किया। अपनी मनोकामना पूर्ण होने वाले लोगों ने पूजा के दौरान मुर्गा व मुर्गी की बलि भी दिया। प्रसाद के रूप में बलि दिए गए मुर्गा व मुर्गी की खिचड़ी बनाई गई जिसे सामूहिक रूप से ग्रहण किया गया। दिउरी ने प्रसाद स्वरूप सभी को साल का फूल दिया। महिलाओं ने साल के फूल को अपने जुड़े में और पुरूषों ने अपने कान में लगाया।

बाहा एनेज में शामिल हुए दो दल

सिदगोड़ा में आयोजित बाहा परब के दौरान हुए बाहा एनेज (बाहा नाच) में मारचागोड़ा और पुड़ीहासा गांव के नृत्य मंडली आए थे। पारंपरिक परिधान में शामिल दोनो नृत्य मंडली के महिलाओं ने देर शाम तक मांदर, नगाड़ा और अन्य पारंपरिक वाद्ययंत्रों से बाहा गीतों के साथ नृत्य किया। नाच गान के साथ नायके बाबा को उनके घर तक पहुंचाया जाता है।

थिरक उठे श्रद्धालु

नाच गान के साथ नायके बाबा को घर पहुंचाने के बाद सिदगोड़ा में जनसभा हुआ। जनसभा का संचालन महेंद्रनाथ हांसदा ने किया जबकि स्वागत भाषण दीपक रात मुर्मू ने दिया। संताल गांवता के सचिव वीरसिंह हेंब्रम ने वार्षिक रिर्पोट पेश किया। धन्यवाद ज्ञापन कुशाल हांसदा ने दिया। बाहा परब में शहर और आसपास के क्षेत्रों से लोग शामिल हुए। परब को सफल बनाने में नायके बाबा लेदा बास्के, सुनील हांसदा, कान्हु हांसदा, गुरभा मार्डी, रंजीत टुडू, सोनाराम हांसदा, विमल कुमार किस्कु, गणेश हांसदा, मेनका वाला हांसदा, सोनामुनी हेंब्रम, चैताली मार्डी, संचित्रा टुडू, निमाई हेंब्रम आदि समेत कई लोगों ने सराहनीय भूमिका निभाया।