योजना आयोग को सौंपे गए आकडो़ं के अनुसार बिहार लगातार दूसरे साल सबसे तेज़ गति से विकास कर रहा है। इस वर्ष बिहार की विकास दर 13.1 प्रतिशत रही है। उल्लेखनीय है कि दिल्ली और पंजाब जैसे इलाक़ों को भी बिहार ने पीछे छोड़ दिया है।

इस सूची में दूसरे नंबर पर दिल्ली है जिसकी विकास दर 11.3 प्रतिशत है जबकि पंजाब की विकास दर मात्र 5.8 प्रतिशत है। गुजरात जिसकी छवि सबसे विकासोन्मुख राज्य के रुप में होती है उसकी विकास दर भी बिहार से कम है।

पिछले दो वर्षों में बिहार की विकास दर सबसे ऊपर रही है। विकास पिछले साल 14.77 प्रतिशत थी। ये आकड़े केंद्रीय सांख्यिकी विभाग ने योजना आयोग को दिए हैं। बिहार की विकास दर बढ़ने का सीधा मतलब है कि देश के विकास में बिहार का योगदान पहले से बढ़ा है लेकिन कई राज्यों की विकास दर घटी भी है।

मसलन उत्तर प्रदेश, नगालैंड, अरुणाचल प्रदेश, हरियाणा, केरल और कई अन्य राज्यों की विकास दर पिछले साल की तुलना में घटी है। जिन राज्यों की विकास दर पिछले साल की तुलना में बढ़ी है उनमें असम, गोवा, जम्मू कश्मीर, दिल्ली और छत्तीसगढ़ का नाम शामिल है। इसमें बिहार का नाम इसलिए नहीं है क्योंकि पिछले साल बिहार की विकास दर 14 प्रतिशत से अधिक थी।

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