-बर्ड फ्लू के खतरे क ो देखते हुए स्वास्थ्य विभाग ने जिला पशु चिकित्साधिकारी को भेजा लेटर
-शहरी आबादी में अवैध रूप से किया जा रहा है मुर्गी पालन
ALLAHABAD: आपकी लापरवाही की सजा पब्लिक क्यों भुगते? इससे पहले कि बर्ड फ्लू का प्रकोप बढ़े, शहरी आबादी में चल रहे पोल्ट्री फॉर्म को बाहर किया जाए। स्वास्थ्य विभाग ने जिला पशु चिकित्साधिकारी को लेटर जारी कर दिया है और पोल्ट्री फॉर्म को शहर से बाहर करने को कहा है।
कुछ दिन बन जाइए शाकाहारी
आमतौर पर पक्षियों में होने वाले संक्रमण से बर्ड फ्लू फैलता है। इसमें बड़ी संख्या में मुर्गियों की मौत होने के बाद इसका मांस खाने वालों को इंफेक्शन हो जाता है। एक से दूसरे इंसान को तेजी से संक्रमण होने पर यह महामारी का रूप ले लेती है। ऐसे में कुछ दिन नॉनवेज से दूरी बना ली जाए तो बेहतर है। फिजीशियन डॉ। मनोज माथुर के मुताबिक साफ-सफाई का ध्यान रखने से बीमारी से बचाव किया जा सकता है।
डोंट वरी, मौजूद हैं दवाएं
स्वास्थ्य विभाग के संक्रामक रोग अधिकारी डॉ। एएन मिश्रा का कहना है कि स्वाइन फ्लू की तरह लक्षण होने की वजह से बर्ड फ्लू के इलाज में भी टैमीफ्लू दवा का इस्तेमाल किया जा सकता है। उन्होंने कहा कि दवाएं पर्याप्त मात्रा में मौजूद हैं।
घनी आबादी में हो रहा मुर्गी पालन
-नियमानुसार पोल्ट्री फॉर्म शहर की सीमा से बाहर संचालित किए जाने चाहिए
-गली-मोहल्लों में मनमाने ढंग से मुर्गियों का पालन किया जा रहा है।
-छोटे-छोटे कमरों में पोल्ट्री फॉर्म बनाकर व्यवसाय से बर्ड फ्लू का खतरा बढ़ा
-एक मुर्गी के इंफेक्टेड होने पर बीमारी फॉर्म में पलने वाली सभी मुर्गियों को चपेट में ले लेती है
-पोल्ट्री फॉर्म्स में पक्षियों का प्रॉपर वैक्सीनेशन भी नहीं किया जाता
-अमेठी में तीन सौ मुर्गियों की मौत के बाद जांच में बर्ड फ्लू के लक्षण मिलने पर पूरे प्रदेश में घोषित है एलर्ट -स्वास्थ्य विभाग ने जिला पशु चिकित्साधिकारी को लेटर लिखकर पोल्ट्री फार्म को शहर से बाहर करने का निर्देश दिया