टीचर्स ने बीएसए को सुनाया बहाना, बीएसए ने दिया 15 दिनों का अल्टीमेटम

>BAREILLY

प्राइमरी स्कूलों में पढ़ाई का स्तर किसी से छिपा नहीं है। इसका सच एक बार फिर जगजाहिर हुआ, जब बीएसए एश्वर्या लक्ष्मी यादव नवाबगंज के कुछ स्कूलों का निरीक्षण करने पहुंची तो क्लास 3 के बच्चे राजा, कमल, झरना और आम तक नहीं पढ़ सके। बच्चों की चुप्पी तोड़ने के लिए बीएसए ने झ अक्षर को पहचानने के लिए सवाल किया तो एक भी छात्र सही उत्तर नहीं दे सका। बीएसए ने टीचर की ओर तिरछी नजर डाली, तो जवाब मिला मैडम गर्मी की छुट्टी में बच्चे सब पढ़ाया भूल गए। पहले इन्हें सब आता था।

चार स्कूल्स का किया निरीक्षण

बीएसए ने मंडे को नवाबगंज ब्लॉक के प्राथमिक विद्यालय कलापुर, प्राथमिक विद्यालय लभेड़ा, उच्च प्राथमिक विद्यालय लभेड़ा और प्राथमिक विद्यालय खाई खेड़ा का दौरा किया। इस दौरान उन्होंने ब्लैक बोर्ड पर लिखे शब्द स्टूडेंट्स से पढ़ने को कहा। किसी स्टूडेंट ने झरना को झंडा, तो किसी ने कमल को कलम पढ़ा। इस पर जब बीएसए ने टीचर्स की फटकार लगाई, तो उन्होंने अपनी नाकामयाबी छिपाने के लिए सारा ठीकरा स्टूडेंट्स के सिर फोड़ दिया। हैरानी की बात तो है कि बीएसए को यह आंसर अधिकांश स्कूल्स में सुनने को मिले। इस पर उन्होंने खासी नाराजगी व्यक्त की। उन्होंने शिक्षकों को शैक्षिक गुणवत्ता सुधारने के लिए 15 दिन का समय दिया है। उन्होंने कहा दोबारा निरीक्षण किया जाएगा, इसके बाद भी कोई सुधार नहीं हुआ तो उनका वेतन रोक दिया जाएगा। इसके साथ ही उन्होंने नवाबगंज ब्लॉक के सभी एबीआरसी का वेतन यह कहते हुए 15 दिन के लिए रोक दिया है कि शिक्षा की गुणवत्ता सुधरने के बाद उसे जारी किा जाएगा।

शिक्षकों को 15 दिन का अल्टीमेटम दिया गया है कि शैक्षिक गुणवत्ता सुधार लें। इसके बाद भी कोई सुधार नहीं होता है, तो उनका 15 दिन का वेतन रोक दिया जाएगा। वहीं, नवाबगंज ब्लॉक के सभी एबीएसए का वेतन 15 दिन का रोक दिया है, वो शैक्षिक गुणवत्ता सुधारने के बाद जारी कर दिया जाएगा।

एश्वर्या लक्ष्मी यादव, बीएसए