टीटीई का है बेटा

रेलवे में टीटीई ज्ञानेंद्र कुमार यादव सुभाषनगर स्थित गंगा नगर कॉलोनी में रहते हैं। उनके परिवार में पत्नी कमलेश, तीन बेटियां सुधा, वंशिका व आकांक्षा और सबसे छोटा एक बेटा प्रथम उर्फ आयुष है। वंशिका, अकांक्षा व प्रथम कैंट स्थित बिशप कोनरॉड स्कूल में पढ़ते हैं। वंशिका सेवेंथ, आकांक्षा सिक्स्थ और प्रथम थर्ड क्लास के स्टूडेंट हैं। कमलेश ज्ञानेंद्र की दूसरी पत्नी हैं। ज्ञानेंद्र की पहली पत्नी राम किशोरी की 1994 में मौत हो चुकी है। राम किशोरी से भी ज्ञानेंद्र की एक बेटी वंदना है जो उनके साथ ही रहती है। ज्ञानेंद्र मूल रूप से कुटरिया कांट शाहजहांपुर के रहने वाले हैं। सिटी में गंगा नगर स्थित उनके मकान में फिलहाल कुछ कंस्ट्रक्शन वर्क भी चल रहा है। मंडे मॉर्निंग ज्ञानेंद्र बरेली से दिल्ली के लिए इंटरसिटी ट्रेन में ड्यूटी के लिए निकले। बीच में उन्हें बच्चे के अपहरण की सूचना मिली तो वह हापुड़ में ही उतर गए और दूसरी ट्रेन से घर आ गए।

पीछे से आकर रुकी कार

करगैना का रहने वाला रिक्शा चालक प्रथम, वंशिका और अकांक्षा को उनके घर से विशप कोनरॉड स्कूल छोडऩे के लिए मंडे सुबह आठ बजकर दस मिनट पर लेकर निकला। कुछ दूर पर चलकर रिक्शे पर पड़ोस में रहने वाले बच्चे दिव्यांशी व दुष्यंत भी बैठे। जैसे ही कालीचरण दिव्यांशी को रिक्शे पर बैठाकर आगे बढऩे लगा पीछे तिराहे की ओर से एक इंडिका कार आ कर रुकी। कार से उतर कर एक बदमाश कालीचरण के पास आया और उससे रिक्शा रोकने को कहा। ऐसा न करने पर उसने कालीचरण पर पिस्तौल तान दी। इसके बाद बदमाश दोनों बहनों के बीच बैठे प्रथम को उठाने लगा।

विरोध पर बहन के साथ मारपीट

प्रथम को उठाने का वंशिका ने विरोध किया तो पीछे से दूसरे बदमाश ने उसे मारा जिससे वह रिक्शे से नीचे गिर गई। इसके बाद बदमाश प्रथम को कार में डालकर फरार हो गए। पूरी घटना की सूचना तुरंत पुलिस को दी गई। गन प्वॉइंट पर बच्चे के अपहरण की सूचना पर एसएसपी आकाश कुलहरि, सीओ सेकेंड अखंड प्रताप सिंह, सीओ थर्ड ओम प्रकाश यादव, एसओ सुभाषनगर रंजीत यादव सहित अन्य पुलिसकर्मी व एसओजी की टीम मौके पर पहुंची। पूछताछ के लिए रिक्शा चालक कालीचरण व कुछ और लोगों को पुलिस अपने साथ ले गई। घर के लोगों से भी गहन पूछताछ की जा रही है। पुलिस की प्राथमिक पड़ताल में सामने आया है कि वारदात को अंजाम देने के लिए जिस कार का इस्तेमाल किया गया है वह कुछ दिनों पहले कासगंज से लूटी गई थी।

राजमिस्त्री लाता था लेबर

कमलेश ने बताया कि करगैना निवासी राज मिस्त्री नेमचंद ही घर में चल रहे वर्क के लिए लेबर लाता था। लोहे का काम करने वाला सुधीर संडे शाम को अपने औजार रख कर गया था। मंडे सुबह करीब 6 बजे वह घर आया और अपने औजार लेकर चला गया। उन्होंने बताया कि बच्चे सिर्फ स्कूल टाइम पर ही बाहर जाते थे और तीन बजे तक घर वापस आ जाते थे। उसके बाद अगर बच्चे खेलते भी थे तो सिर्फ गेट के पास या घर के अंदर ।

शक के घेरे में दो गाडिय़ों के नंबर्स

जिस कार से बच्चे को किडनैप किया गया स्पॉट पर मौजूद कुछ लोगों ने उसका नंबर नोट कर लिया। लोगों द्वारा बताए गए नंबर और उससे मिलते-जुलते एक और नंबर की डिटेल पुलिस ने निकलवाई है। जांच में  यूपी 87 -7486 नंबर एक कार का निकला जिसे कासगंज से लूटा गया  था। जबकी दूसरा नंबर यूपी 87 -ए-7486 एक्टिवा गाड़ी का निकला है। दोनों नंबर्स के मालिकों से पूछताछ की जा रही है।

सबसे छोटा होने से आंखों का तारा है प्रथम

ज्ञानेंद्र के बच्चों में प्रथम सबसे छोटा है। इकलौता बेटा होने के कारण वह अपने पेरेंट्स और बहनों का काफी दुलारा है। बेटे की किडनैपिंग होने के बाद से मां का रो-रोकर बुरा हाल है। वह केवल यही पूछ रही हैं कि मेरे बेटे को कौन ले गया। वहीं वारदात के समय मौके पर मौजूद दोनों बहनें काफी डरी हुई हैं। ज्ञानेंद्र के घर पहुंचने पर वह उनसे यही बोल रही थीं 'पापा वो प्रथम को ले गएÓ। घटना पूरे एरिया में चर्चा का विषय बनी हुई है। कमलेश ने बताया कि उनके घर कंस्ट्रक्शन वर्क होने की वजह से दिन भी लेबर आते जाते रहते हैं। घर में इलेक्ट्रिसिटी का काम प्रमोद कर रहे हैं वह उनके रिलेटिव भी हैं। वहीं सुधीर के जिम्मे लोहे का काम है।

बदमाशों ने मुझसे रिक्शा रोकने को कहा। मैंने इससे मना किया तो उन्होंने मुझ पर बंदूक तान दी। उन्होंने मुझसे कहा कि शोर मचाया तो जान से मार देंगे। इसके बाद बदमाश प्रथम को लेकर अपनी कार से भाग निकले।

कालीचरण, रिक्शा चालक

बदमाश ने कार से उतरने के बाद रिक्शा रोकने के लिए कहा। उसने रिक्शा वाले पर बंदूक तान दी और मेरे भाई को रिक्शे से उठाने लगे। मैने इसका विरोध किया तो उन्होंने मुझे धक्का दे दिया जिससे मैं रिक्शे से नीचे गिर गई। एक बदमाश ने पैंट-शर्ट पहन रखी थी। उसके स्वेटर का कलर ब्राउन था और उसने मफलर भी बांध रखा था।

वंशिका, प्रथम की बहन

कार सवार बदमाशों ने बच्चे की किडनैपिंग की है। पुलिस की कई टीम्स मामले की जांच के लिए लगाई गई हैं। बच्चे को सकुशल बरामद करने के लिए हरसंभव प्रयास किए जा रहे हैं।

आकाश कुलहरि, एसएसपी बरेली