रांची : मुख्यमंत्री रघुवर दास ने जैप 9 साहिबगंज में चतुर्थ श्रेणी की बहाली को तत्काल प्रभाव से रद करने का आदेश दिया है चयन पर्षद के अध्यक्ष और जैप 9 के कमांडेंट हरिनारायण राम महली के खिलाफ विभागीय कार्यवाही होगी उन्हें पूरे मामले में पहली नजर में दोषी पाया गया है मुख्यमंत्री ने बहाली घोटाला मामले के मुख्य अभियुक्त देवेंद्र उर्फ दिलीप मिश्रा की मौत की जांच भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो से कराने का निर्देश दिया है मिश्रा की मौत नियुक्ति में गड़बड़ी के खुलासे के बाद हुई है

यह है मामला

2015 में जैप -09, साहेबगंज में धोबी, नाई, रसोईया, जलवाहक आदि के 269 पदों पर बहाली का विज्ञापन जारी किया गया था। बहाली के लिए चयन पर्षद का गठन तत्कालीन कमांडेंट हरिनारायण महली की अध्यक्षता में किया गया था। बहाली के बाद अनियमितता और भ्रष्टाचार की बात सामने आने के बाद बोरयो थाना में मामला दर्ज किया गया था.इसमें समादेष्टा महली ने उल्लेख किया कि देवेंद्र मिश्रा उर्फ दिलीप मिश्रा, मदन पांडेय व इनके सहयोगियों के द्वारा बहाली के लिए इनके नाम पर (समादेष्टा के) लाखों रुपये की ठगी कर ली गयी है। बाद में पुलिस मुख्यालय द्वारा इसकी जांच करायी गयी। जांच में पाया गया कि अनियमितता में समादेष्टा महली की भी संलिप्तता है।

पारदर्शी नहीं थी चयन प्रक्रिया

जांच में पाया गया कि चयन की प्रक्त्रिया पारदर्शी नहीं थी। समादेष्टा ने 100 में से 60 अंक स्वयं आवंटन के लिए रखा और 20 अंक पर्षद के अन्य सदस्यों को आवंटित किया गया। समादेष्टा द्वारा अंकों की प्रविष्टि पेंसिल से की जाती थी। बाद में सारी लिखावट कलम से पायी गयी, जिससे प्रतीत होता है कि अंकों में फेरबदल किया गया.बहाली के दौरान अभियुक्तों से बातचीत नहीं होने के समादेष्टा के दावे पर कॉल डिटेल निकाली गई। कॉल डिटेल में अभियुक्तों व समादेष्टा के बीच बातचीत प्रमाणित हुई है।