कोर्ट का सख्त रुख
खबरों की मानें, तो सीजेएम सोमप्रभा मिश्रा ने अमिताभ ठाकुर की अर्जी और हजरतगंज थाने के रिपोर्ट न दर्ज करने पर सीआरपीसी की धारा 156 (3) के तहत मुकदमा दर्ज करने का आदेश दिया है। यही नहीं इसके अलावा कोर्ट को इस केस की प्रोग्रेस रिपोर्ट सौंपने का भी ऑर्डर दिया गया। ऐसे में अब मुलायम का बच पाना नामुमकिन है।

क्या था पूरा मामला

दरअसल यह मामला 10 जुलाई का है। अमिताभ का आरोप है कि मुलायम ने उनके नंबर पर फोन किया था और तकरीबन 2 मिनट 10 सेकेंड तक बात भी की थी। इस बातचीत में मुलायम ने अमिताभ को कुछ पुरानी घटनाएं याद दिलाईं और धमकीभरे लहजे में कहा था कि सुधर जाओ। यह बात तब सामने आई जब आईपीएस की पत्नी और सोशल एक्टीविस्ट नूतन ठाकुर ने यह ऑडियों टेप सार्वजनिक किया। इसमें मुलायम साफतौर पर अमिताभ को धमकाते हुए सुने जा सकते हैं।

साफ बच निकले थे मुलायम

हालांकि अमिताभ ठाकुर ने अगले ही दिन यानी 11 जुलाई को मुलायम के खिलाफ एफआईआर के लिए हजरतगंज थाने में तहरीर दी थी। लेकिन उनकी एफआईआर दर्ज नहीं हुई तो उन्होंने 23 जुलाई को SSP लखनऊ राजेश पांडेय को एप्लीकेशन भेजी। इसके बाद जब जांच हुई तो अमिताभ को झूठा साबित किया गया और मुलायम को क्लीन चिट मिल गई थी।

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